कोरोना मरीजों को अस्पताल पहुंचाने में मदद के लिए इंटीग्रेटेड कंट्रोल रूम शुरू

Health /Sanitation

(www.arya-tv.com) समय से सही अस्पताल पहुंचाया जाए यह अब मुमकिन है। रविवार को स्मार्ट सिटी दफ्तर में कोविड कंट्रोल रूम शुरू हो गया। यह सप्ताह के सातों दिन 24 घंटे कार्य करेगा। सीएमओ और सीडीओ की टीम यह तय करेगी कि किस मरीज को कहां भर्ती होना है। अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी ने रविवार को कंट्रोल रूम का निरीक्षण भी किया।

जिलाधिकारी अभिषेक प्रकाश ने बताया कि कंट्रोल रूम से रोजाना घर घर जाकर नमूने लेने वाली टीम की कार्य योजना बनाने और रोजाना रिपोर्ट भेजने का कार्य यहीं से होगा। मरीज के सम्पर्क में आने वाले लोगों की सूची बनाकर उनको चिह्नित करना, रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद तत्काल कोविड सेंटर या अस्पताल पहुंचाना, एम्बुलेंस सेवा को संचालित करना, सैनिटाइजेशन न अभियान की निगरानी, अस्पतालों में भर्ती और मरीज की छुट्टी समय से हो जैसे अनेक कार्य इसी कंट्रोल रूम से किए जाएंगे।

प्रभारी अधिकारियों की निगरानी में चलेगा 
सीएमओ डॉ. नरेन्द्र अग्रवाल, एसीएमओ डॉ. केपी त्रिपाठी प्रभारी अधिकारी हैं। तीन पालियों में कंट्रोल रूम में कर्मचारी तैनात किए जाएंगे। मरीज से सम्पर्क में आने वाले लोगों की तलाश का कार्य करने वाली टीम की निगरानी एडीएम एलए प्रथम राम अरज यादव, एसीएमओ डॉ. अजय राजा, एसीएम षष्ठम इंद्रसेन और डीपीएम सतीश यादव की टीम करेगी।

पुलिस, नगर निगम और स्वास्थ्य विभाग की टीम करेगी स्क्रीनिंग
नए मरीजों को चिह्नित करने, उनकी टेस्टिंग के लिए संयुक्त टीमें बनाई गई हैं। यह कार्य सुबह सात से दिन के तीन बजे तक चलेगा। इसके लिए प्रभारी नगर आयुक्त डॉ. इन्द्रमणि त्रिपाठी, एसीपी आलोक सिंह, एसीपी श्वेता श्रीवास्तव प्रभारी होंगे। साथ ही बीएसए दिनेश कुमार, एसीएम द्वितीय नवीन चन्द्र, डीसीपीएम विष्णु यादव, तहसीलदार सविता सिंह समेत दो अन्य अधिकारी तैनात किए गए हैं। तीसरी टीम में सिटी मजिस्ट्रेट सुशील प्रताप सिंह के नेतृत्व में चार अधिकारी लगाए गए हैं।

कॉल कर के पूछेंगे खांसी या जुखाम तो नहीं
अलग अलग लैब से कोविड पॉजिटिव मरीजों की सूची मिलते ही कंट्रोल रूम से फोन जाएगा। पूछा जाएगा कि खांसी, जुखाम, बुखार, सांस लेने में तकलीफ तो नहीं। अन्य बीमारी जैसे मधुमेह, ब्लडप्रेशर, दिल का रोग आदि की जानकारी ली जाएगी। इसके कम्प्यूटर पर उसी बीच दर्ज कर लिया जाएगा। बिना लक्षण वाले कोविड केयर सेंटर और लक्षण वाले कोविड अस्पताल भेजे जाएंगे। किसी मरीज ने गलत नम्बर दिया है तो पुलिस उसका पता लगाएगी।