सुसाइड के लिए कुलपति कार्यालय की छत पर चढ़ा छात्र

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(www.arya-tv.com)  इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्र फीस वृद्धि के विरोध में पिछले 15 दिनों से आमरण अनशन पर बैठे हैं। बीते 6 सितंबर से यूनिवर्सिटी कैंपस में छात्र प्रदर्शन कर रहे हैं। छात्र मंगलवार को उग्र हो गए। एक छात्र कुलपति कार्यालय की छत पर चढ़ गया और आत्महत्या करने का प्रयास किया। वहीं, मो. मासूद नाम के एक छात्र ने मिट्टी का तेल पी लिया, उसे तत्काल अस्पताल भेज दिया गया है।

मौके पर कई थानों की पुलिस फोर्स बुला ली गई है। छात्र कुलपति विरोधी नारे लगाते हुए यूनिवर्सिटी कैंपस में पैदल मार्च कर रहे हैं। करीब आधा दर्जन छात्रों ने मिट्टी का तेल पी लिया है। छात्रों का कहना है कि इस यूनिवर्सिटी में किसान और मजदूर का बेटा भी पढ़ाई करने आता है और यहां फीस वृद्धि कर विश्वविद्यालय प्रशासन तानाशाही कर रहा है।

“फीस वृद्धि वापस नहीं हुई तो ते देंगे जान”

कुलपति ऑफिस की छत पर चढ़े छात्र का कहना है कि पिछले 15 दिनों से हम छात्र फीस वृद्धि के विरोध में आमरण अनशन कर रहे हैं। लेकिन विश्वविद्यालय कुलपति हमारी बातों को अनदेखा कर रही हैं। फीस वृद्धि तत्काल वापस नहीं हुई तो जान दे देंगे।” छात्र को नीचे उतारने के लिए जिला प्रशासन और पुलिस के अधिकारी भी मौके पर पहुंचे और मना कर उतार लिया गया।

अखिलेश और प्रियंका का भी मिला है समर्थन
विश्वविद्यालय के छात्र 6 सितंबर से छात्र संघ भवन के सामने धरने पर बैठे हैं। इन छात्रों को कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव का भी समर्थन मिला चुका है। प्रियंका गांधी ने 16 सितंबर को ट्वीट कर छात्रों का समर्थन दिया था। उन्होंने विश्वविद्यालय प्रशासन और सरकार से फीस कम करने की अपील की थी। इसी तरह 13 सितंबर को अखिलेश यादव ने भी ट्वीट कर छात्रों को अपना समर्थन दिया था।

आत्मदाह की कोशिश कर चुके हैं छात्र

19 सितंबर को विश्वविद्यालय गेट पर एक छात्र ने फीस वृद्धि के विरोध में अपने ऊपर पेट्रोल छिड़क कर आत्मदाह करने की कोशिश की थी। पुलिस ने काफी प्रयास के बाद उसे सुरक्षित बचा लिया। उसके दूसरे दिन ही छात्रों ने फिर विरोध तेज कर दिया और आदर्श भदौरिया नाम के छात्र ने कुलपति कार्यालय की छत पर चढ़कर आत्महत्या की कोशिश की। मामला गंभीर देखते हुए अधिकारी भी कॉलेज कैंपस पहुंच गए। एंबुलेंस और फायर ब्रिगेड की टीम भी बुला ली गई।

जानिए, 15 दिन में कब और क्या हुआ

06 सितंबर – फीस वृद्धि के विरोध में पांच छात्र (आयुष प्रियदर्शी, अभिषेक यादव, राहुल सरोज, मनजीत पटेल और गौरव गौड़) आमरण अनशन पर बैठे। 07सितंबर – इलाहाबाद विश्वविद्यालय कैंपस में हजारों छात्रों ने पैदल मार्च किया और नारेबाजी की। 08 सितंबर – फीस वृद्धि के विरोध में छात्र नेताओं ने बैठक कर निर्णय लिया कि यदि फीस में कमी नहीं की गई तो हम सामूहिक रूप से प्राणों की आहूति देंगे। 09 सितंबर – NSUI के प्रदेश अध्यक्ष और छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष अखिलेश यादव के नेतृत्व में छात्रों ने अधिष्ठाता छात्र कल्याण को दो घंटे तक बंधक बनाया। 10 सितंबर – अनशनरत छात्र गौरव गौड़ की हालत बिगड़ गई तो उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया। इससे आक्रोश मार्च निकालने की रणनीति बनाई गई। 11 सितंबर – विश्वविद्यालय परिसर में सैकड़ों छात्रों ने आक्रोश मार्च निकाला। अनशनरत छात्र मनजीत और राहुल सरोज की हालत बिगड़ी और दोनों को अस्पताल में भर्ती कराया गया।