काशी विद्यापीठ में शुरू होगा इन्क्यूबेशन सेंटर:युवाओं के आइडियाज को मिलेगी पहचान

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(www.arya-tv.com) महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ में इन्क्यूबेशन सेंटर जल्दी खुलने जा रहा है। इस सेंटर के खुलने से छात्रों को आत्मनिर्भर बनने का एक बड़ा मौका मिलेगा। छात्र खुद ही आविष्कारक की भूमिका निभाएंगे। केंद्रीय विश्वविद्यालय के बाद अब वाराणसी के राज्यस्तरीय विश्वविद्यालय में इस सेंटर की स्थापना होने जा रही है।

इन्क्यूबेशन सेंटर की जानकारी देते हुए महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ की कुलसचिव डॉ. सुनीता पांडे ने बताया कि इस साल इस सेंटर की शुरुआत हो जाएगी। इससे युवाओं को काफी फायदा मिलने वाला है। युवा अपने नए आइडिया और स्टार्टअप को लेकर आएंगे। यहां पर इस संस्था द्वारा उनके आइडिया को और विकसित करने में उनकी मदद की जाएगी। उन्होंने यह भी बताया कि वर्तमान में युवाओं के पास काफी अच्छा आइडिया है, लेकिन पैसे और सही जगह ना मिलने के कारण वह आगे नहीं बढ़ पाते हैं।

युवाओं को स्टार्टअप के साथ-साथ बाजार के भी मायने बताए जाएंगे
डॉ. सुनीता ने बताया कि इस सेंटर द्वारा युवाओं को स्टार्टअप के साथ-साथ बाजार के भी मायने बताए जाएंगे। इसमें कृषि आइटीआर फूड सहित अन्य क्षेत्र के युवाओं को स्टार्टर की जगह मिलेगी जिससे युवा आत्मनिर्भर बनने के साथ-साथ रोजगार का सृजन कर सकेंगे। विश्वविद्यालय में खुले वाले इस सेंटर को लेकर युवाओं में भी काफी उत्साह है। युवाओं ने अपनी खुशी जाहिर करते हुए कहा कि अब हम अपने आइडिया को बना सकेंगे और लोगों के बीच में उसे दिखा सकेंगे यह सरकार की बहुत ही अच्छी पहल है।

इनक्यूबेशन सेंटर शुरू होने से पूर्वांचल के लोगों को एक बड़ा लाभ मिलेगा
डॉ. सुनीता ने बताया विश्वविद्यालय में रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया शुरू हो गई है। इस सेंटर को चलाने के लिए सबसे बड़ी चीज है फंड, जिसके लिए अलग-अलग कंपनियों के साथ एमओयू साइन की जा रही है। जहां पर युवाओं के आइडियाज को कंपनियां नया दिशा देंगी। उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय में इनक्यूबेशन सेंटर की शुरुआत होने से पूरे पूर्वांचल के लोगों को एक बड़ा लाभ मिलेगा।