एक घटना ने बदल दी डॉ. नीरा तोमर की जिंदगी, जिसके बाद लिया अनोखा संकल्प, अब घायलों की कर रहीं मदद

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(www.arya-tv.com) अभी तक आपने देखा होगा कि सड़क पर अगर किसी व्यक्ति की दुर्घटना हो जाए तो लोग मदद करने के बजाय वीडियो बनाते हुए दिखाई देते हैं. लेकिन मेरठ की रहने वाली शिक्षिका डॉ. नीरा तोमर पिछले कई वर्षों से निरंतर ऐसे ही दुर्घटना ग्रस्त लोगों की मदद करने के लिए सदैव तत्पर रहती हैं. अब तक वह 20 लोगों की जान भी बचा चुकी हैं. जिसके लिए उन्हें गुड सेमेरिटन अर्थात नेक इंसान अवार्ड से भी तीन बार सम्मानित किया जा चुका है.

डॉ. नीरा तोमर ने बताया कि 15 साल पहले उनके किसी परिचित की दुर्घटना के कारण ही मृत्यु हो गई थी. परिवार ने बताया कि अगर समय रहते ही उनको किसी अस्पताल में इलाज मिल जाता तो शायद उनकी जान नहीं जाती. इस घटना के बाद उन्होंने संकल्प लिया कि अगर वह कभी भी रास्ते में जा रही होंगी अगर उनके सामने कोई भी ऐसी घटना होगी तो पहले उस दुर्घटना ग्रस्त व्यक्ति की जान बचाएंगी. तभी से वह इस तरीके से लोगों की मदद करते हुए आ रही हैं. बता दें कि डॉ. नीरा तोमर को वर्ष 2021,2022 और 2023 तीनों ही वर्ष में नेक इंसान अर्थात गुड सेमेरिटन अवार्ड से सम्मानित किया जा चुका है. ऐसे में अगर आपके सामने भी कोई ऐसी घटना हो तो आप संबंधित व्यक्ति की मदद करते हुए पुलिस को भी सूचित कर सकते हैं.

लोगों की दुआएं मेरे लिए अवार्ड

डॉ. नीरा तोमर बताती है कि लोगों की दुआएं ही उनके लिए सबसे बड़ा अवार्ड है. एक घटना का जिक्र करते हुए उन्होंने बताया कि पल्लवपुरम क्षेत्र में पिता पुत्र बाइक से जा रहे थे. उनको किसी ने गाड़ी से टक्कर मार दी थी. इसके बाद वहां भीड़ लगी हुई थी. उनके साथ उनकी एक शिक्षिका भी थी. उन्होंने गाड़ी रुकवा कर भीड़ में जाकर देखा तो बाइक से एक्सीडेंट हुआ था. वह तभी लोगों की मदद से अपनी गाड़ी में दोनों व्यक्ति को नजदीकी अस्पताल में ले गई. वह बताती है कि दोनों की हालत काफी गंभीर थी. ऐसे में उन्हें भी डर लग रहा था की गाड़ी में दोनों व्यक्ति को कुछ ना हो जाए. लेकिन वह भगवान भरोसे उन्हें अस्पताल ली गई. जहां समय रहते हुए ट्रीटमेंट मिलने के कारण दोनों की जान बच गई. कुछ दिन बाद संबंधित व्यक्ति की बेटी द्वारा फेसबुक पर मैसेज भेज कर धन्यवाद किया.

आप भी कर सकते हैं किसी की मदद
अगर सड़क पर किसी भी व्यक्ति की दुर्घटना हो जाती है. आप उस व्यक्ति की मदद करते हुए पास के ही अस्पताल में ले जाकर एडमिट करते हैं. तो आप किसी भी प्रकार की पुलिस इंक्वारी में नहीं फसेंगे. बल्कि आप इस बात को अगर साबित करते हैं. आपने उसकी मदद की है. तो आपको नेक इंसान सर्टिफिकेट से सम्मानित किया जाएगा. इसके लिए शासन द्वारा निर्धारित किए गए नियम के अनुसार 5000 रुपए का इनाम राशि भी दी जाएगी.