शिक्षक दिवस के अवसर पर ऑनलाइन कलाकृति प्रदर्शनी का आयोजन: कला एंव शिल्प महाविद्यालय

Lucknow UP

Lucknow (www.arya-tv.com) आज दिनांक 05 सितम्बर 2020 को स्थानीय कला एंव शिल्प महाविद्यालय, ललित कला संकाय, लखनऊ विश्विद्यालय, लखनऊ में सेवारत् समस्त शिक्षको तथा तकनीकी सहायकों ने शिक्षक दिवस के अवसर पर अपने शिक्षकों तथा छात्रों को याद करते हुए कोरोना महामारी की विषयमताओं को देखते हुए एक ऑनलाइन  कलाकृति प्रदर्शनी का आयोजन किया।

प्रदर्शनी का प्रसारण यूट्यूब फेशबुक तथा अन्य सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर आम लोगों के लिए उपलब्ध होगा।

प्रदर्शनी में भाग लेने वाले कलाकारों में प्रो आलोक कुमार, डाॅ संजीव किशोर गौतम, डाॅ पूनम रवि जायसवाल, डाॅ रविकान्त पाण्डेय, डाॅ विभावरी सिंह, प्रो लालजीत अहीर, प्रो धर्मेन्द्र कुमार सुश्री सारिका वर्मा, श्री जय किशोर, श्री कमल आर्या, श्रीमती किरन आर्या, श्रीमती सुशमा वर्मा, श्रीमती कीर्ति वर्मा, श्रीमती वन्दना प्रजापति ने अपनी कलाकृतियों प्रदर्शनी की।.

इस अवसर पर बोलते हुए प्रधानाचार्य प्रो आलोक कुमार ने देश की प्रथम महिला शिक्षिका सुश्री सावित्री बाई ज्योतिया फुले जी को याद किया तथा बताया कि सन् 1831 में महाराष्ट्र में जन्मी सुत्री सावित्री बाई जी ने बड़े संघर्षों के बाद लगभग 150 वर्ष पूर्व भारत में महिला शिक्षा के लिए प्रथम विद्यालय की स्थापना की। ज्ञात है कि इससे पूर्व भारतीय समाज में महिलाओं के शिक्षा के प्रति गहरी उदासीनता थी तथा किसी प्रकार के विद्यालयों की व्यवस्था नहीं थी। शिक्षकों ने सर्वपल्ली डाॅ राधाकृष्णन जी को अपना श्रद्वा सुमन अर्पित किया।

इस अवसर पर मुख्य अतिथि रैमन मैक्सेस एवार्डी, प्रो संदीप पाण्डेय ने बताया कि बहुत संघर्षों के बाद सावित्री बाई को कुछ सफलता मिली। शुरूआत में आंग्रेजों ने भी महिलाओं की शिक्षा के लिए मिशनरी के माध्यम से स्कूल बनाये थे लेकिन वे सफल नहीं हुए। सावित्री बाई दो साड़ी लेकर चलती थी जिस पर रास्ते पर चलने पर लोगों उनके उपर कीचड़ फेंकते थे जिसे वे स्कूल में जाकर बदलती थी।

प्रो आलोक कुमार ने अपने शिक्षकों एवं छात्रों को याद किया। सभा के अन्त में डाॅ संजीव किशोर गौतम ने सभी को धन्यावाद किया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि को प्रो धर्मेन्द्र कुमार जी ने एक मूर्तिशिल्प तथा प्रो आलोक कुमार ने महाविद्यालय को ब्रोसर एवं डाॅ संजीव किशोर गौतम ने एक पौधा यादगार स्वरूप् भेट किया।