ध्वनि प्रदूषण को लेकर मोहन सरकार सख्त, लाउडस्पीकर को लेकर जारी किया नया फरमान

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(www.arya-tv.com) मध्य प्रदेश में धार्मिक स्थलों पर लाउडस्पीकर और ध्वनि प्रदूषण करते हुए डीजे पर सरकार द्वारा लगाई गई रोक पर अलग-अलग जिले में अलग-अलग नियम जारी कर रहे हैं। भोपाल जिले में भी कलेक्टर ने नियमों में कुछ बदलाव किया है।

नए नियमों के अनुसार अब धर्म स्थलों में होने वाले कार्यक्रमों के दौरान दो स्पीकर, दो लाउडस्पीकर लगाए जा सकेंगे। वहीं निजी कार्यक्रम और शादी समारोह में बड़े डीजे लगाना गैर कानूनी रहेगा।

लेकिन अगर आयोजक चाहें तो दो छोटे-छोटे आकार के डीजे तय मानक आवाज में बजा सकते हैं। भोपाल कलेक्टर आशीष सिंह ने यह आदेश जारी कर दिए हैं।

नियम तोड़ा तो होगी कार्रवाई

नए आदेश के तहत भोपाल जिले के लिए चार क्षेत्र निर्धारित किए गए हैं। इसके तहत औद्योगिक क्षेत्र में सुबह 6:00 बजे से रात्रि के 10:00 बजे तक 75 डेसिबल की ध्वनि तय की गई है। वहीं व्यावसायिक क्षेत्र में 65 डेसीबल की ध्वनि तय की है।

आवासीय क्षेत्र में 55 और शांत क्षेत्र में 50 डेसिबल से ऊंची आवाज में ध्वनि प्रदूषण स्वीकार नहीं किया जाएगा। आज से ही जिला प्रशासन के अधिकारी पूरे शहर में निगरानी करेंगे। अगर कहीं भी नियम तोड़ा जाता है तो तत्काल कार्रवाई की जाएगी।

साइलेंट जोन भी घोषित

भोपाल कलेक्टर ने इसके लिए एसडीएम, थाना प्रभारी और प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड के अधिकारियों को निगरानी के आदेश दिए हैं। इसके साथ ही जिले के 31 अस्पतालों के आस-पास शांत क्षेत्र साइलेंट जोन भी घोषित किए गए हैं।

साइलेंट जोन क्षेत्र में राजभवन भोपाल, मुख्यमंत्री निवास, विधानसभा भवन, नर्मदा भवन, संभाग आयुक्त और कलेक्टर कार्यालय, जिला न्यायालय, सभी शैक्षणिक संस्थान अस्पताल और बैंक कार्यालय के 100 मीटर के दायरे में तेज आवाज में स्पीकर नहीं बजाया जा सकेगा।

प्रदूषण का नियंत्रण कंट्रोल बोर्ड ने इसके लिए एक टीम भी बना दी है। अगर कोई नियम तोड़ता है तो ऐसे में डीजे और लाउडस्पीकर को जब्त किया जाएगा और एफआईआर दर्ज की जाएगी।

आपको बता दें 14 दिसंबर को मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के निर्देश के बाद गृह विभाग ने धार्मिक स्थलों व अन्य स्थानों में ध्वनि प्रदूषण को लेकर विस्तृत दिशा निर्देश जारी किए थे। अब उनका अनुपालन शुरू हो गया है।