Live in pm modi : किसानों को प्रकल्प के साथ ही नए विकल्प देने से होगा हमारे कृषि क्षेत्र का कायाकल्प: पीएम मोदी

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(www.arya-tv.com) किसानों की आय के बढ़ाने के लिए 2 साल पहले काले चावल की वैरायटी का प्रयोग यहां किया गया था पिछले साल खरीद के सीजन में करीब 400 किसानों को यह चावल उगाने के लिए दिया गया था इन किसानों की समिति बनाई गई इसके लिए मार्केट तलाश किया गया सामान्य चावल जहां रू35—रू40 के किलो के हिसाब बिकता है।

यहां बेहतरीन काला चावल रू300 तक बिक रहा है बड़ी बात यह भी है विदेशी बाजार में मिल गया पहली बार ऑस्ट्रेलिया को यह चावल निर्यात हुआ है वह भी करीब साडे रू800 के हिसाब से यानी जहां धान का एमएसपी 1800 है वह काला चावल साडे रू8000 प्रति क्विंटल बिका है कामयाबी को देखते हुए इस बार के सीजन में लगभग 1000 किसान परिवार काले चावल की खेती कर रहे हैं।

किसान को आधुनिक सुविधाएं देना छोटे किसानों को संगठित करके उनको बड़ी ताकत बनाना किसानों के आय बढ़ाने के प्रयास निरंतर जारी हैं। बीते सालों में फसल बीमा हो या सिंचाई बीज हो या वजह हर स्तर पर काम किया गया है प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना से देश के लगभग चार करोड़ किसान परिवारों की मदद हुई है प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना से लगभग 47 लाइक 87 लाख हेक्टेयर जमीन माइक्रो इरीगेशन के दायरे में आ चुके हैं 77000 करोड रुपए इरिगेशन प्रोजेक्ट पर तेजी से काम चल रहा है।

विकल्प के माध्यम से किसानों को सशक्त बनाने का रास्ता बना अपनाया गया है। किसान हित में किए गए कृषि सुधार ऐसे ही विकल्प किसान को देते हैं। शुगर किसान को कोई ऐसा खरीदार मिल जाए जो सीधा खेत से उपज उठाए। भारत कृषि व्यापार पूरी दुनिया में मशहूर है। किसान के इस बड़े मार्केट और ज्यादा दाम तक किसान की पहुंच होनी चाहिए अगर कोई पुरानी सिस्टम से ही लेन देन को ठीक समझता है तो उस पर भी इस कानून में कहां कोई रोक लगाई है।

नए कृषि सुधारों से किसानों को नए विकल्प और नए कानूनी संरक्षण हेतु दिए गए हैं पहले मंडी के बाहर ही लेनदेन ही गैरकानूनी माने जाते थे ऐसे में छोटे किसानों के साथ अक्सर धोखा होता था विवाद होते थे क्योंकि छोटा किसान तू मंडी पहुंच नहीं पाता अब ऐसा नहीं है और ना ही होगा और छोटे से छोटा किसान भी मंडी से बाहर जाकर अपने साथियों को लेकर कानूनी कार्यवाही कर सकता है यानी किसान को नए विकल्प भी मिले हैं। और छल से धोखे से उसे बचाने के लिए कानूनी संरक्षण भी मिला है किसानों को प्रकल्प के साथ ही नए विकल्प देने से ही हमारे कृषि क्षेत्र का कायाकल्प हो सकता है।