मुख्यमंत्री उत्तरायणी कौथिग-2023 के समापन कार्यक्रम में सम्मिलित हुए

Lucknow
  • दिवंगत सी0डी0एस0 जनरल बिपिन रावत को वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली वीरता पुरस्कार
  • उत्तरायणी कौथिग प्रधानमंत्री  के ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ की संकल्पना को साकार कर रहा
  • उ0प्र0 व उत्तराखण्ड की आत्मा एक, देवभूमि ऋषि-मुनियों की तपःस्थली, अध्यात्म से ओत-प्रोत, आस्था की प्रगाढ़ता  भी उत्तराखण्ड में जीवन्त
  • प्रदेश सरकार जनपद गाजियाबाद में उत्तराखण्ड भवन का निर्माण करा रही
  • राज्य सरकार गढ़वाली, कुमाऊँनी, जौनसारी बोलियों के साहित्य को समृद्ध करने में सहयोग प्रदान करेगी, विरासतों को संरक्षित करने की आवश्यकता
  • मैनपुरी सैनिक स्कूल का नामकरण जनरल बिपिन रावत के नाम पर, जनरल रावत की विशाल मूर्ति स्थापित की जा रही
  • उत्तराखण्ड के नवयुवक गौरव के साथ सेना, अर्धसैनिक बलों में अपनी सेवाएं देते हुए देश की रक्षा में तत्पर
  • अमृतकाल में हमें अपनी आने वाली पीढ़ी को समृद्ध व खुशहाल बनाने के लिए अभी से मेहनत व प्रयास करने होंगे
  • प्रदेश में विभिन्न आयोजनों में मिलेट के व्यंजन परोसे जायेंगे
  • मुख्यमंत्री  ने पर्वत संदेश पत्रिका का विमोचन किया
(www.arya-tv.com)उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने  उत्तरायणी कौथिग-2023 के समापन कार्यक्रम में सम्मिलित हुए। 14 जनवरी से प्रारम्भ, 10 दिवसीय इस उत्तरायणी कौथिग का आयोजन पर्वतीय महापरिषद, लखनऊ द्वारा किया गया। इस अवसर पर दिवंगत सी0डी0एस0 जनरल बिपिन रावत को वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली वीरता पुरस्कार समर्पित किया गया। मुख्यमंत्री  से यह पुरस्कार दिवंगत सी0डी0एस0 जनरल बिपिन रावत के अनुज कर्नल विजय सिंह रावत ने प्राप्त किया।
मुख्यमंत्री  ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि उत्तरायणी कौथिग प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ की संकल्पना को साकार कर रहा है। उत्तरायणी कौथिग का प्रारम्भ भगवान सूर्य के उत्तरायण होने के पश्चात मकर संक्रांति से होता है। सूर्य का उत्तरायण होना, हमारे देश में सांस्कृतिक दृष्टि से अत्यन्त महत्वपूर्ण है। सूर्य के उत्तरायण होने के पश्चात अनेक पर्व और त्योहार आरम्भ हो जाते हैं। उत्तर प्रदेश व उत्तराखण्ड की आत्मा एक है और दोनों अभिन्न हैं, क्योंकि दोनों राज्यों को मां गंगा व यमुना जी का आशीर्वाद प्राप्त होता है। देवभूमि उत्तराखण्ड ऋषि-मुनियों की तपोस्थली है। यह भूमि अध्यात्म से ओत-प्रोत है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री  के नेतृत्व में एक वर्ष तक भारत जी-20 की अध्यक्षता कर रहा है। जी-20 से सम्बन्धित कुछ कार्यक्रम प्रदेश में सम्पन्न होने हैं। प्रदेशवासियों को इन कार्यक्रमों में आतिथ्य सेवाभाव के साथ अपनी सहभागिता निभानी होगी। अपने घर की भांति नगर में साफ-सफाई व स्वच्छता का विशेष ध्यान देना होगा। संयुक्त राष्ट्र संगठन व भारत सरकार ने वर्ष 2023 को अन्तर्राष्ट्रीय मिलेट वर्ष घोषित किया है। प्रदेश में विभिन्न आयोजनों में मिलेट के व्यंजन परोसे जायेंगे। हम सभी को प्राकृतिक खेती की ओर आगे बढ़ना होगा।
कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री जी ने पर्वत संदेश पत्रिका का विमोचन भी किया। लोक गायकों द्वारा जागर सहित उत्तराखण्ड के लोकगीतों का गायन किया गया।
इस अवसर पर परिवहन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार)  दयाशंकर सिंह, स्वास्थ्य राज्य मंत्री  मयंकेश्वर शरण सिंह, पूर्व मंत्री एवं विधायक  आशुतोष टण्डन, पर्वतीय महापरिषद के पदाधिकारी व अन्य गणमान्य व्यक्ति थे।