सही बचत के लिए बनाइए सही योजना : समीर शेट्टी

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  • सही बचत के लिए बनाइए सही योजना

(www.arya-tv.com)कोविड- 19 ने हमें कई मूल धारणाओं के बारे में सवाल उठाने को मजबूर कर दिया है। इनमें से मुख्य है हमारी आर्थिक सेहत के बारे मे हमारी धारणाएं। आपने अपना घर खरीदने के लिए पैसा बचाया, लेकिन अब आपको यही पता नहीं कि आप की नौकरी रह पाएगी या नहीं। क्या आपने हाल मंे कर्ज लेकर नया आईफोन खरीदा था और अब आप जानते नहीं कि यह कर्ज कैसे चुकाएंगे। आपने कभी कोई वित्तीय योजना नहीं बनाई और अब आप सोच रहें कि काश ऐसी कोई योजना बना लेता। यदि ये सवाल आपके दिमााग में है तो यह लेख आपके लिए ही है।

समीर शेट्टी डिजिटल बैंकिंग एक्सिस बैंक के प्रमुख के अनुसार, किसी भी वित्तीय योजना में चार तत्व होने चाहिए-

  • उद्देश्य – हर वित्तीय योजना के लिए कुछ उद्देश्य होने जरूरी हैं। यह घर की खरीद, हर दो वर्ष में विदेश यात्रा, अपनी बेटी की उच्च शिक्षा का खर्च या अपने रिटायरमेंट के लिए काॅरपस तैयार करना हो सकता है।
  • राशि – आपको यह पता होना चाहिए कि अपने उद्देश्य को पूरा करने के लिए आपको कितना पैसा चाहिए। समय – आपकी वित्तीय योजना ऐसी होनी चाहिए जो आपके लक्ष्य के पूरा होने के समय में आपके काम आए।
  • साधन – आपके साधन का चुनाव आपके उद्देश्यों और आपकी जोखिम लेने की क्षमता पर निर्भर करता है। जोखिम लेने की क्षमता उद्देश्य के अनुसार अलग-अलग हो सकती है। उदाहरण के लिए हो सकता है कि आप मूल खर्चों को बनाए रखने के लिए ज्यादा जोखिम ना लें, क्योंकि ये रोजमर्रा की जरूरत होती है। दूसरी तरफ अपने बच्चों के लिए आप कुछ करना चाहते हैं, तो यहां जोखिम कुछ ज्यादा ले सकते हैं, क्योंकि यह लक्ष्य दीर्घकालीन है। तो, अब देखिए कि आप अपनी वित्तीय योजना कैसे बना सकते हैं। इसे एक फ्रेमवर्क से समझने की कोशिश करते हैं। वित्तीय योजना के पदसोपानः- यह फ्रेमवर्क हमें बताता है कि हमारी जो जरूरतें पदसोपान में नीचे की तरफ हैं, उन्हें ऊपर की जरूरतों के मुकाबले सबसे पहले पूरा करना चाहिए। अब देखते हैं कि हमारी वित्तीय योजना उपर बताए गए तत्वों के साथ जरूरतों के पदसोपान के साथ कैसे सामजंस्य बैठा सकती है।
  • जरूरी खर्चेः यह सबसे अहम जरूरतें हैं जैसे भोजन, कपड़े, किराया और कर्ज की किश्तें। ये जरूरतें आपके जीवन के लिए सबसे ज्यादा जरूरी है। ऐसे में आपका पहला लक्ष्य यह होना चाहिए कि आपात स्थितियों जैसे नौकरी चले जाने, बीमारी अदि में भी आप इन खर्चों को पूरा कर सकें। अपने पिछले तीन माह के खर्चे देखिए। यह देखिए कि आपने ग्रोसरी, भोजन, किराया, किश्त और अन्य जरूरी चीजों पर कितना खर्च किया।

एक सामान्य भारतीय परिवार के लिए जरूरी खर्च कर के बाद बची मासिक आय के 40 से 50 प्रतिशत तक होते है। इससे आपको यह अंदाजा लग सकता है कि 6 से 9 माह के जरूरी खर्च के लिए आपको कितना पैसा चाहिए। ऐसे में यदि आपके जरूरी खर्च 50 हजार रूपए प्रतिमाह है तो आपको इस काम के लिए 3-4.5 लाख रूपए बचाने होंगे। इतना पैसा आपको हमेशा चाहिए होगा और यह पैसा आपको पूरी तरह लिक्विड और बहुत कम जोखिम पर रखना होगा। इसके लिए सबसे उचित साधन बचत खाता, एक वर्ष या इससे कम की फिक्सड डिपोजिट या लिक्विड म्यूचअल फंड है। सुरक्षा सम्बन्धी जरूरतें: आप और आपके परिवार की सुरक्षा आपकी जरूरतो के पद सोपान में अगले क्रम पर है।

यह सुरक्षा जीवन बीमा, सामान्य बीमा ओैर स्वास्थ्य बीमा के जरिए प्राप्त की जा सकती है। सामान्य तौर पर इस खर्च के लिए 10 से 20 प्रतिशत की आय चाहिए। स्वास्थ्य से जुडे खर्च कभी भी आ सकते है। आदर्श स्थिति यह है कि स्वास्थ्य और जीवन बीमा उत्पादो दोनों चुनिए और बचत खाता, एफडी या लिक्विड एमएफ भी साथ में रखिए ताकि इन स्वास्थ्य सम्बन्धी जरूरतों को पूरा किया जा सके। लक्ष्य आधारित निवेशः वित्तीय योजना का अगला चरण यह है कि अपने हर लक्ष्य के लिए अलग बचत कीजिए। आपकी उम्र के हिसाब से आपके अलग अलग लक्ष्य हो सकते है। आप पांच वर्ष में घर, तीन वर्ष में कार, विदेश यात्रा या रिटायरमेंट प्लान आदि लक्ष्य तय कर सकते हैं। यह तय कीजिए कि हर लक्ष्य को पूरा करने के लिए आपको कितना पैसा चाहिए होगा। सामान्य तौर पर आपको ऐसे लक्ष्यो के लिए अपनी आय का 20 प्रतिशत बचाना चाहिए। यह उन निवेशों के अलावा है जो अपने आप होते हैं जैसे पीएफ (यदि आप नौकरी में हैं तो)। समय लक्ष्य पर निर्भर करता है। लघु अवधि के लक्ष्य छुट्टी बिताना या कार खरीदना हो सकता है, वहीं दीर्घावधि लक्ष्य घर खरीदना या रिटायरमेंट हो सकता है।

अब एक बचत योजना तैयार करें और हर माह अपने लक्ष्य के लिए कुछ पैसा रखते जाइए। लघु अवधि के लक्ष्यों के लिए कम जोखिम वाले साधन जैसे एफडी, कम जोखिम वाले म्यूचअल फंड अदि चुनें। दीर्घावधि लक्ष्यों के लिए आप ज्यादा जोखिम वाले एसेट क्लास जैसे इक्विटी म्यूचअल फंड को चुन सकते हैं। उपभोग व्ययः आवश्यक जरूरतों के साथ ही हमारी कुछ इच्छाएं भी होती हैं। यह आपके विवेक पर निर्भर करती हैं, इसलिए इन्हें सबसे आखिर में रखा गया है। यह पांच सितारा होटल में डिनर या कोई डिजाइनर ड्रेस हो सकती है। यह रोज के खर्च है और इसके लिए 20 से 30 प्रतिशत की आय रखी जा सकती है।