(www.arya-tv.com) एमपी में चुनाव से पहले बीजेपी की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रहीं हैं। पार्टी से नेताओं का ऐसा मोहभंग हो रहा है कि पिछले पांच महीने में लगभग 36-37 छोटे-बड़े नेता पार्टी छोड़ चुके हैं। स्थिति देखकर ये लग रहा है कि ये सिलसिला अभी यहां खत्म नहीं हो रहा है। क्योंकि अब पूर्व सांसद बोध सिंह ने पार्टी छोड़ दी है। उन्होंने अपने समर्थकों के साथ कांग्रेस की सदस्यता ले ली है। वह बालाघाट सीट से सांसद रहे हैं।
विंध्य क्षेत्र से और खुद सीएम शिवराज की बुधनी विधानसभा से भी कई नेताओं के कांग्रेस में शामिल होने की चर्चा है। पार्टी के अंदरूनी सर्वे जब गुटबाजी की खबर सामने आईं थीं, तो पार्टी के वरिष्ठ नेताओं को इसकी जिम्मेदारी सौंपी गई थी। हालांकि इसमें वह ज्यादा कामयाब नहीं हो पाए हैं। पार्टी छोड़कर जाने वाले नेताओं की एक लंबी लिस्ट है। इसके पीछे कई वजह सामने आ रही हैं। हालांकि पार्टी का मानना यह है कि चुनाव के समय टिकट न मिलने से ऐसा होता ही है।
नाराज लोगों को मनाया जा रहा है। महत्वाकांक्षा को दरकिनार कर संगठन को आगे बढ़ाने के लिए काम करना चाहिए। जबकि पार्टी छोड़ने वाले नेताओं का कहना है कि अब पार्टी को उनकी जरूरत नहीं है। यह बात गंभीर इसलिए भी है, क्योंकि पार्टी छोड़ने वालों में पूर्व विधायक, पूर्व सांसद और पूर्व जनप्रतिनिधि शामिल हैं। इससे पहले नर्मदापुरम से बीजेपी के लिए दो बार चुनाव जीत चुके गिरिजाशंकर शर्मा ने भी पार्टी को अलविदा कह दिया।
पूर्व मुख्यमंत्री कैलाश जोशी के बेटे दीपक जोशी भी कांग्रेस में शामिल हो गए हैं। इससे पहले पूर्व सांसद माखन सिंह सोलंकी, पूर्व विधायक देशराज सिंह के पुत्र यादवेंद्र सिंह यादव, सेवड़ा से पूर्व विधायक राधेलाल बघेल, भाजपा विधायक वीरेंद्र रघुवंशी और पूर्व विधायक भंवर सिंह शेखावत जैसे कई कद्दावर नेता कांग्रेस की सदस्यता ले चुके हैं।
कांग्रेस में बोध सिंह का हो रहा विरोध
ऐसा नहीं है कि बीजेपी के नेताओं के कांग्रेस में जाने से उसका भला हो रहा है। इसके उलट कांग्रेस की भी मुश्किलें बढी हुई हैं। पूर्व बीजेपी नेता बोध सिंह का कांग्रेस में शामिल होने के बाद विरोध होना शुरू हो गया है। स्थानीय कार्यकर्ता इसका विरोध कर रहे हैं। लगभग हर सीट पर यही हाल है।
एक ही दिन में तीन नेताओं का इस्तीफा
हैरानी की बात यह है कि पिछले पांच महीने में तीन दर्जन नेताओं को किनारे करें तो एक ही दिन में तीन नेताओं ने पार्टी छोड़ दी है। बोध सिंह से पहले ममता मीणा और सिंधिया समर्थक प्रमोद टंडन भी शामिल हैं। इनमें से ममता मीणा चाचौड़ा सीट से चुनाव लड़ती रही हैं। उन्होंने आम आदमी पार्टी की सदस्यता ली है।