परदे के पीछे का खेल गोल्ड एक्सचेंज ऑफर के नाम पर हजारों की हेराफेरी

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(www.arya-tv.com) धनतेरस और दिवाली जैसे त्योहार आने वाले हैं। ज्यादातर महिलाएं ऐसे मौकों पर गोल्ड खरीदना पसंद करती हैं। ज्यादा उम्र की महिलाएं पीढ़ियों से चले आ रहे अपने सोने के गहने को सहेजकर रखती हैं और मुश्किल वक्त में ही इन गहनों को बेचती हैं। वहीं, नई उम्र की बहू-बेटियों को सोने की पुरानी ज्वेलरी नहीं भाती। वे ट्रेंड के हिसाब से ज्वेलरी पहनना चाहती हैं। ऐसे में आपको यह ध्यान रखना होगा कि कहीं आपका पुराना खरा सोना ठगी की भेंट तो नहीं चढ़ रहा है। आइए-जानते हैं कि पुराने सोने को मुफ्त में नया गहना बनाने के नाम पर क्या खेल होता रहा है।

 झांसे से बचें
गोल्ड तो गोल्ड ही है। चाहे वह पुराना हो या नया, सदियों से उसकी बादशाहत बनी हुई है। हालांकि, सोना कितना ही खरा क्यों न हो, वह 100% शुद्ध नहीं हो सकता। दरअसल, सोना इतना सॉफ्ट मेटल है कि बिना मिलावट के उसके गहने बन ही नहीं सकते। यही वजह है कि सोने की शुद्धता मापने की यूनिट कैरेट के हिसाब से तय होती है। 24 कैरेट का सोना भी 99.9 फीसदी ही शुद्ध माना जाता है। आम तौर पर गहने 22 कैरेट, 18 या 14 कैरेट के बनवाए जाते हैं।

ग्राहकों  का उठाया जा रहा फायदा
उत्तर प्रदेश के मऊ जिले में एक प्रतिष्ठित ज्वेलरी शॉप में करीब 18 साल तक काम करने वाले योगेंद्र चौहान बताते हैं कि देश में कहीं भी कोई भी ज्वेलर हो, उसका अपना एक कोडवर्ड होता है, जिसमें वह बात करते हैं, जो सामने खड़ा ग्राहक भी जान नहीं पाता है। सोने के गहने में हेरफेर की कई तरह से गुंजाइश होती है। एक तो यह कि आप जो सोने का गहना लेकर जा रही हैं, उसके वजन या उसकी शुद्धता के बारे में आपको जानकारी नहीं होती है। गांवों और कस्बों में रहने वाली महिलाओं को यह भी पता नहीं होता है कि उस वक्त सोने का बाजार भाव क्या चल रहा है।

कोडवर्ड में करते हैं बात
ज्वेलर के ये कोडवर्ड हो सकता है कि आपको सुनने में भले ही लोकल लगें, लेकिन ये समझने में आसानी होगी कि किस तरह के कोडवर्ड का इस्तेमाल किया जाता है। जैसे सुनार या ज्वेलर ग्राहक के सामने ही गलाई वाले से आपके सोने की शुद्धता कम बताने को कहेंगे। इन अंकों को ऐसे समझें- सांग का मतलब 1, सवांग 2, एकवाई 3, फोग 4, बुध 5, डहक 6, पड़त 7, मंग 8, कोन 9 और सलाय 10 है। वह गलाई वाले से कहेगा कि भाई ये हमारे बेहद अच्छे ग्राहक हैं, इनको जरा देखना एकदम बुध। यानी आपके सोने में शुद्धता वह 5 फीसदी कम ही बताएगा।

 मिलावट का खेल  भी जानें
सोने के गहनों के पीछे के खेल के बारे में गाजियाबाद जिले में एक ज्वेलरी शॉप में काम करने वाले धीरेंद्र सिंह भी बताते हैं कि त्योहारी सीजन में गहने में मिलावट का खेल भी खूब होता है। जैसे कि आपका पुराना सोना 23 कैरेट का है तो उसका नया गहना बनाते वक्त सोने को 22 या 18 कैरेट में तब्दील कर दिया जाता है। बाकी का इसमें पीतल, तांबा, या कोई अन्य धातु मिला दी जाती है। वहीं, योगेंद्र चौहान बताते हैं कि पुराना सोने को देखकर सुनार सोने की गलाई का काम करने वाले से कोड वर्ड में आपके सामने ही बात करेगा कि पर्चे पर सोने में शुद्धता बताते वक्त हेरफेर कितना करना है। जैसे – मान लीजिए आपका पुराना सोना 10 ग्राम का है और 23 कैरेट यानी 95.83 फीसदी शुद्ध है तो वह कोड भाषा में इसे 22 कैरेट या कभी-कभी 18 कैरेट की पर्ची बनाने को कह सकता है।

हो सकता है 10 हजार तक का नुकसान
मान लीजिए अभी 24 कैरेट सोने का बाजार भाव 50,000 रुपए प्रति 10 ग्राम चल रहा है। 22 कैरेट सोने का दाम 50000×22/24=45,833 रुपए होगा। अगर आपका पुराना सोना 22 कैरेट का है तो उसे 18 कैरेट बताए जाने पर उसकी कीमत बाजार भाव के हिसाब से 37,500 रुपए होगी। यानी आपसे शुरुआत में ही 8,333 रुपए का फायदा ले लिया जाएगा। इसके अलावा, अगर वजन में 1 ग्राम का भी हेरफेर बताया जाता है तो उसे 5,000 रुपए अतिरिक्त फायदा होगा। हालांकि, इसमें गलाई वाले और बनाने वाले का भी चार्ज होता है, जो करीब 5 हजार रुपए बैठता है। फिर भी सुनार को इस खेल से 8 से 10 हजार रुपए तक फायदा होता है। यही वजह है कि कई बार वह मुफ्त में पुराने सोने का नया गहना बनाने की पेशकश करते हैं।