अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस से मिले नरेंद्र मोदी

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(www.arya-tv.com) अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने गुरुवार को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की और एक स्वतंत्र हिंद-प्रशांत क्षेत्र की अहमियत पर जोर दिया। भारतीय मूल की पहली अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस से नरेंद्र मोदी की मुलाकात कई मायने में दिलचस्प थीं। नरेंद्र मोदी पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के ना सिर्फ करीबी माने जाते हैं बल्कि उन्होंने ट्रंप के लिए चुनाव प्रचार तक कर दिया था। बैठक के दौरान कमला हैरिस ने मोदी से कहा, “भारत की तरह अमेरिका भी हिंद-प्रशांत का सदस्य होने में गर्व महसूस करता है।

उन रिश्तों की नजाकत और अहमियत को समझता है और जानता है कि एक आजाद और खुले हिंद-प्रशांत क्षेत्र की अहमियत क्या है” तस्वीरेंः 2021 के 100 सबसे प्रभावशाली लोग अमेरिकी उपराष्ट्रपति का इशारा उस क्षेत्र में चीन के बढ़ते प्रभाव की ओर था, जिसे लेकर उनके देश ने हाल ही में कई बड़े कदम उठाए हैं। इनमें क्वाड देशों की बढ़ती सक्रियता भी शामिल है, जिसके सदस्य देशों में भारत और अमेरिका दोनों हैं. गौरव के क्षण कमला हैरिस और नरेंद्र मोदी की यह बैठक अमेरिका में रहने वाले उन 40 लाख से ज्यादा भारतीयों के लिए गौरव का क्षण था जो हैरिस के भारतीय मूल पर फख्र करते हैं।

नरेंद्र मोदी ने भी इस बात का जिक्र किया। उन्होंने कमला हैरिस को एक प्रेरणा बताया और कहा कि वह तो परिवार जैसी हैं, जिन्होंने कोविड-19 संकट के वक्त भारत की मदद की। मोदी ने कहा, “सबसे पुराने और सबसे बड़े लोकतंत्र के तौर पर हम कुदरती साझीदार हैं।

हमारे मूल्य साझे हैं” बैठक के दौरान कमला हैरिस ने भारत के उस फैसले को सराहा जिसके तहत भारत में निर्मित कोविड-19 वैक्सीन का निर्यात दोबारा शुरू किया गया है। उन्होंने कहा कि दुनियाभर में लोकतंत्र की रक्षा के लिए दोनों देशों को मिलकर काम करना चाहिए। भारत दुनिया का सबसे बड़ा कोविड-वैक्सीन उत्पादक है। हाल ही में उसने ऐलान किया है कि जल्द ही वैक्सीन का निर्यात दोबारा शुरू किया जाएगा।

मुलाकात के बाद स्कॉट मॉरिसन ने ट्विटर पर लिखा, “मेरे अच्छे दोस्त और ऑस्ट्रेलिया के महान दोस्त भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलकर अच्छा लगा। क्वाड बैठक से पहले विस्तृत मुद्दों बातचीत हुई।” सर्वेः दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेता बने मोदी नरेंद्र मोदी ने क्वॉलकॉम, ब्लैकस्टोन, अडोबी, फर्स्ट सोलर और जनरल अटॉमिक्स आदि बड़ी अमेरिकी कंपनियों के प्रमुखों से भी मुलाकात की।

गुजरात का मुख्यमंत्री रहते हुए नरेंद्र मोदी पर अमेरिका में वीजा प्रतिबंध लगा हुआ था। 2002 के दंगों में एक हजार से ज्यादा लोगों के मारे जाने के बाद अमेरिका ने मोदी को वीजा देने पर प्रतिबंध लगा दिया था। 2014 में भारत का प्रधानमंत्री बनने के फौरन बाद तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने उन्हें बधाई दी और अमेरिका आमंत्रित किया था।