कांवड़ यात्रा-पथराव प्रकरण :मुस्लिम संगठन ने दी लचर दलील- प्रशासन एक समुदाय को टारगेट कर रहा

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(www.arya-tv.com) बरेली में रविवार को कांवड़ यात्रा में कावड़ियों पर हुए पथराव के बाद मुस्लिम समाज ने सवाल उठाए हैं। दरगाह आला हजरत से जुड़े जमात रजा ए मुस्तफा संगठन के सदस्य ने कहा कि प्रशासन एक समुदाय को टारगेट कर रहा है। वहीं पुलिस का कहना है कि कांवड़ यात्रा के बीच दोनों ही समुदाय के लोगों ने एक दूसरे पर पथराव किया।

कावड़ का जुलूस कोई भी किसी रास्ते से निकाल लेता है

जमात रजा ए मुस्तफा दरगाह आला हजरत/ ताजुशारिया के वरिष्ठ सदस्य मोइन खान ने कहा कि हम यह पूछना चाहते हैं कि शासन व प्रशासन से जब कोई और धार्मिक जुलूस किसी और रास्ते से निकलता है। तो उसको नई परंपरा कहकर रोक दिया जाता है।

जबकि अब जिला बरेली के आसपास या बरेली मे देखा ये जा रहा है कि कावड़ का जुलूस कोई भी किसी रास्ते से निकाल लेता है। जो शख्स न्यू रास्ते से उस कावड़ यात्रा को रोकता है उसी के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत कर दिए जाते हैं। यह कहां का न्याय है, जब कि तमाम जुलूस को कहा जाता है।

कोई नई परंपरा न डाली जाए

आगे कहा कि त्योहार रजिस्टर के हिसाब से आप उसी रूट पर जाएंगे, जहां से कांवड़िए हर साल गुजरते हैं। जब के देखा यह जा रहा है कावड़ का रूट कोई नहीं तय कर पा रहा है। कावड़ जिस रास्ते से चाहे निकल रहे हैं जब उन्हें रोका जाता है तो शासन प्रशासन द्वारा बल प्रयोग करके या दूसरे समुदाय से कॉर्पोरेट करके उसी रूट से से निकलवा दिया जाता है। जबकि सीएम योगी आदित्यनाथ का फरमान है कि त्योहारों में कोई नई परंपरा न डाली जाए। जिसका जो रूट है उसी रोड से जुलूस या कावड़ यात्रा निकाली जाए l

कानून सबके लिए एक होना चाहिए। किसी धर्म विशेष के लिए अलग-अलग कानून का इस्तेमाल न किया जाए। यह देखा जा रहा कि प्रशासन द्वारा एक ही समुदाय को टारगेट किया जाता है जिसमें उसकी गलती हो या न हो।