दिल्ली दंगा: पुलिस पर बंदूक तानने वाले शाहरुख की जमानत याचिका खारिज, कोर्ट ने कहा- और बनो हीरो

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(www.arya-tv.com) दिल्ली हिंसा के दौरान पुलिस पर बंदूक तानने वाले युवक शाहरुख पठान को हाई कोर्ट ने जमानत देने से इंकार कर दिया है। कोर्ट ने कहा कि हिंसा के दौरान शाहरख की मंशा हीरो बनने की थी, ऐसे में अब उसे कानून का सामना करना होगा। जस्टिस सुरेश कुमार कैत ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए सुनवाई करते हुए कहा कि अगर आप कानून हाथ में लेते हैं और  हीरो बनते हैं तो आपको कानून का सामना भी करना होगा। पठान के वकील से कहा गया कि आपके मुवक्किल को जमानत नहीं दी जा सकती। आरोपी ने अपने पिता की देखभाल के लिए जमानत मांगी थी।

शाहरुख पठान और चार अन्य लोगों को दिल्ली में मौजपुर चौक पर साम्प्रदायिक हिंसा भड़काने की गहरी साजिश में शामिल पाया गया है। शाहरुख पठान को फरवरी में दिल्ली में हुई हिंसा के दौरान एक पुलिसकर्मी पर बंदूक तानते हुए देखा गया था। मौजपुर चौक दंगा मामले में पुलिस ने पाया कि 24 फरवरी को सुबह 11 बजे दो समूह चौक पर आपस में भिड़ गए। इनमें से एक समूह नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) का समर्थन कर रहा था तो दूसरा समूह इसका विरोध कर रहा था। शुरू में विरोध शांतिपूर्ण था, लेकिन जल्द ही यह हिंसक हो गया और दोनों ओर से पथराव शुरू हो गया। दोनों पक्षों की ओर से ईंट-पत्थर फेंकने के साथ ही आगजनी, गोलीबारी और तोड़फोड़ की घटनाएं सामने आई थीं।

इस घटना से कई पुलिसकर्मियों के साथ-साथ अन्य लोगों को भी चोटें आईं और लोगों में डर का माहौल पैदा हो गया। उस दिन, एक व्यक्ति विनोद सिंह ने संबंधित घटना में अपनी जान गंवा दी और उसके हत्यारों के खिलाफ हत्या का एक अलग मामला दर्ज किया गया। इस मामले में शाहरुख पठान सहित पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था। पुलिस ने कहा कि जांच के दौरान पाया गया कि पठान एक अन्य मामले में मुख्य आरोपी है, जिसमें उसने सरेआम लोगों के बीच अपनी बंदूक हेड कांस्टेबल दीपक दहिया की ओर तान दी थी और गोली भी चलाई थी।