इंदौर एयरपोर्ट आने वाले यात्रियों को न्यू ईयर गिफ्ट, ई-वीजा से हो जाएगा काम, डिजी यात्रा से बोर्डिंग होगी आसान

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(www.arya-tv.com) शहर के अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डे देवी अहिल्याबाई होलकर इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर नए साल में आने वाले यात्रियों को नई सुविधा मिलेगी। अब यहां पर ई-वीजा की परमिशन मिल गई है।

यहां आने वाले यात्रियों को ई वीजा के आधार पर ही उतरने की परमिशन मिल जाएगी। नए साल से पहले वीजा की फिजिकल कॉपी होना जरूरी होता था। ई वीजा के साथ ही साथ यहां के यात्रियों को डिजी यात्रा की सुविधा भी मिलेगी। इसके शुरू होने से बोर्डिंग के टाइम में कमी होगी।

दरअसल, यात्रियों की ट्रेवलिंग को आसान बनाने के लिए एयरपोर्ट भारत सरकार ने पहल की थी और विदेश मंत्रालय को ई-वीजा की सुविधा शुरू करने के लिए पत्र लिखा था। अब इसकी परमिशन मिल गई है। इसके साथ ही डिजी यात्रा भी शुरू होगी।

अब फिजिकल वीजा की नहीं होगी जरूरत

नए समय में टेक्नोलॉजी का ध्यान रखते हुए हवाई यात्रा करने वाले यात्रियों की सुविधाओं को भी बढ़ाया गया है। नए साल में इंदौर आने वाले यात्री अब बिना फिजिकल वीजा के भी आ सकते है।

हालांकि उनके पास ई-वीजा होना आवश्यक होगा। इंदौर एयरपोर्ट पर विदेश मंत्रालय से परमिशन मिलने के बाद 1 जनवरी 2024 से ई वीजा होने पर भी एयरपोर्ट में उतरने की अनुमति मिल जाएगी। इस सुविधा से पहले फिजिकल वीजा होना अनिवार्य होता था।

बोर्डिंग का टाइम बचाएगी डिजी यात्रा

ई-वीजा के साथ ही साथ अब एयरपोर्ट पर डिजी यात्रा की भी शुरूआत होने जा रही है। एयर ट्रेवेलिंग के दौरान बोर्डिंग की प्रोसेस इतनी लंबी होती है कि यात्री इससे ऊब जाते है।

ऐसा इसलिए होता है कि बोर्डिंग और सिक्योरिटी में लगभग 1 से 2 घंटे का टाइम लग जाता है। लेकिन अब सरकार ऐसी टेक्नोलॉजी लाया है जिससे बोर्डिंग का समय काफी कम हो जाता है। जिसे डिजी यात्रा कहा जा रहा है।

जानिए क्या है डिजी यात्रा

भारत सरकार की तरफ से लाई गई टेक्नोलॉजी है डिजी यात्रा। यह एक ऐसी तकनीक है जो बोर्डिंग की प्रक्रिया को तेज और कंफर्टेबल बना रही है। इसके चलते हर यात्री को हर टच प्वाइंट में लगभग तीन सेकेंड का समय ही लगता है जिससे उनके समय की बचत होती है।

कैसे काम करता है डिजी यात्रा

डिजी यात्रा एक ऐसी प्रक्रिया है जो यात्रा, पहचान, स्वास्थ्य या एयर ट्रेवल के जरूरी डाटा को डिजिटली वेरिफाई करने के लिए चेहरे का बायोमेट्रिक्स का उपयोग करता है। इसमें आपका चेहरा ही आपकी पहचान होता है।

यह डॉक्यूमेंट जैसे आईडी प्रूफ, वैक्सीन प्रूफ और बोर्डिंग पास के रूप में भी काम करेगा। इसमें बिना किसी बोर्डिंग पास के केवल फेस रिकग्निशन के एयरपोर्ट पर इंट्री मिल जाएगी। इसकी शुरूआत 1 दिसंबर 2022 को केंद्रीय उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने शुरूआत की थी।