धर्मांतरण व छात्रा के शोषण पर एबीवीपी ने केजीएमयू कुलपति को सौंपा ज्ञापन

Lucknow
  • धर्मांतरण व छात्रा के शोषण पर एबीवीपी ने केजीएमयू कुलपति को सौंपा ज्ञापन

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद लखनऊ महानगर के कार्यकर्ताओं ने किंग जॉर्ज मेडिकल विश्विद्यालय (केजीएमयू)में विगत दिनों पैथालॉजी विभाग के डॉ. रमीजुद्दीन नायक द्वारा किए गए छात्रा के शोषण व धर्मांतरण के खिलाफ कुलपति को 6 सूत्रीय मांगों के साथ ज्ञापन सौंपा, एबीवीपी लखनऊ महानगर मंत्री सरिता पाण्डेय ने कुलपति डॉ. सोनिया नित्यानंद के समक्ष छात्रा पर हुए शोषण के खिलाफ अपनी 6 सूत्रीय मांग को रखते हुए कहा कि अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद अपने स्थापना काल से ही शिक्षा व सामाजिक क्षेत्र में व्याप्त समस्याओं के निराकरण हेतु हमेशा प्रयासरत रही है, इसी क्रम में किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी में व्याप्त अनियमितता व लव जिहाद जैसी दुर्भाग्यपूर्ण घटना शिक्षा व सामाजिक जगत के लिए गहरी चिंता का विषय है।

अभाविप निम्नलिखित बिंदुओं पर ज्ञापन दिया

1. विश्विद्यालय में लव जिहाद जैसी दुर्भाग्यपूर्ण घटनाएं तेजी से बढ़ रही है, इसके साथ ही जबरन धर्मांतरण का विषय भी सामने आ रहा है, इन विषयों का गंभीरतापूर्वक जांच कर इनमें संलिप्त व्यक्तियों को विश्विद्यालय से निलंबित किया जाए।

2. जिहाद कर रहे अपराधी डॉक्टर को विश्वविद्यालय से पूर्ण रूप से निष्कासित किया जाए और उसके चरित्र प्रमाण पत्र में यह प्रकरण दर्शाया जाए साथ ही उपरोक्त डाक्टर का नाम पता व विश्वविद्यालय से क्या सम्बन्ध था सार्वजनिक किया जाए।

3. भविष्य में ऐसी घटना न हो इसके लिए केजीएमयू प्रशासन की जो महिलाओं की रक्षा के लिए विशाखा टीम है, इस टीम में सभी विभाग से कम से कम 2 या 3 कर्मचारी जरूर होने चाहिए जिससे किसी भी छात्राओं को समस्या न हो।

4. अभी तक इस प्रकरण में अपराधी डॉक्टर के खिलाफ विश्वविद्यालय प्रशासन के द्वारा क्या करवाही की गई है और क्या कार्यवाही अभी बाकी है संगठन को अवगत कराया जाए

5. परिसर में बाहरी तत्व आकर भी परिसर की शांति व मर्यादा भंग करने का प्रयास करते है, इस लिए विश्वविद्यालय प्रशासन परिसर में पर्याप्त CCTV कैमरे लगवाए और सुरक्षा गार्ड की भी उचित व्यवस्था हो जिससे सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।

6. अभाविप छात्र संगठन के नाते केजीएमयू प्रशासन से मांग करता है कि सभी पाठ्यक्रमों के विद्यार्थियों को संपूर्ण सुरक्षा की गारंटी के लिए एक अलग टीम बनाई जाए और सभी विभाग से कम से कम 5-10 विद्यार्थी सदस्य हों जैसे महिला सुरक्षा के लिए विशाखा टीम बनाई गई है।