जोगी नवादा में नहीं निकाली जाएगी कांवड़ यात्रा,बरेली में आज सुरक्षा कड़ी, आरएएफ तैनात

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(www.arya-tv.com) सावन के इस बार दो माह होने के चलते बरेली में कांवड़ यात्रा इस बार पुलिस प्रशासन के लिए चुनौती बनी हुई है। सोमवार 28 अगस्त सावन माह का आखिरी सोमवार है, ऐसे में पुलिस प्रशासन माहौल को लेकर पूरी तरह से अलर्ट है। पिछले 1 माह में चार बार शहर और देहात में माहौल गर्रमाया। लेकिन आज रविवार को बरेली में सुरक्षा के कड़े इंतजाम तैनात किए हैं।

हर बार रविवार को माहौल बिगाड़ने का प्रयास

23 जुलाई को रविवार था। अचानक से सब कुछ शांत चल रहा था। सोमवार के लिए कांवड़ियों के जत्थे कछला घाट बदायूं से गंगाजल लेने के लिए निकल रहे थे। दोपहर के 2 बजे का वक्त था। बारादरी थाना क्षेत्र के जोगी नवादा में सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस फोर्स तैनात थी।

कांवड़ियों का जत्था वनखंडी नाथ मंदिर से जोगी नवादा की तरफ पहुंचता है। पुलिस फोर्स ने रोकने का प्रयास किया तो कांवड़िए नहीं माने और डीजे की आवाज को तेज कर दिया। जैसे ही कांवड़ि शाहनूरी मस्जिद के सामने पहुंचे तो भीड़ में शामिल कुछ लोगों ने मस्जिद की तरफ सफेद रंग के चूने जैसे पाउडर को उड़ा दिया।

जिसके रिएक्शन में पत्थर चले। दोनों तरफ से पथराव हुआ। मौके पर पहुंचे एसपी सिटी राहुल भाटी और एसएसपी ने किसी तरह कांवड़ियों को शांत कराया। 4 घंटे तक कांवड़िए हंगामा करते रहे, लेकिन पुलिस प्रशासन ने शांत करा दिया।

30 जुलाई को दूसरी बार बवाल

30 जुलाई को बरेली में सुनियोजित तरह से बवाल कराया। इस दिन भी रविवार था, सुरक्षा को लेकर अधिक फोर्स और आरएएफ जोगी नवादा में लगाई गई। दोपहर के 3 बजे कांवड़ियों की भीड़ में बाहरी लोग हंगामा करने लगे कि कांवड़ मस्जिद के सामने से ही निकलेगी, डीजे भी बजाया जाएगा। जिस पर एसएसपी प्रभाकर चौधरी और अन्य अधिकारी भी पहुंच गए और कहा कि यह नया रूट है, आगे दूसरे समुदाय की आबादी है।

30 जुलाई के बवाल में एसएसपी हटे

30 जुलाई को कांवड़ियों की भीड़ में जब अराजक तत्वों ने हवैध असलहों से फायरिंग की तो एसएसपी प्रभाकर चौधरी ने लाठीचार्ज करा दिया। जहां पुलिस फोर्स ने हंगामा और बवाल करने वाली भीड़ को तितर बितर कर दिया। 30 जुलाई और 23 जुलाई का बवाल बारादरी क्षेत्र में जोगी नवादा में शाह नूरी मस्जिद के सामने हुआ। यहां कावड़िए डीजे के साथ कांवड़ निकालना चाहते थे, जबकि पुलिस प्रशासन और मुस्लिम विरोध कर रहे थे।

जोगी नवादा में कांवड़ जुलूस की अनुमति नहीं

कांवड़ यात्रा में पूरे दो माह पुलिस फोर्स जूझती रही। लेकिन कुछ अराजक तत्व लगातार माहौल बिगाड़ने के प्रयास में रहे। कभी डीजे बजाने पर विवाद हुआ तो कभी कभी मुस्लिम आबादी क्षेत्र में डीजे के साथ कांवड़ निकालने का प्रयास किया। बरेली का जोगी नवादा सबसे ज्यादा संवेदनशील है। सावन के आखिरी सोमवार से पहले यहां पुलिस प्रशासन ने डीजे के साथ कांवड़ निकालने की कोई अनुमति नहीं दी। एलआईयू और आईबी भी अलर्ट है। पुलिस सोशल मीडिया पर भी नजर रखे हुए है।