बरेली में ही होगी बैलेस्टिक, डीएनए और कंप्यूटर फोरेंसिक जांच

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(www.arya-tv.com)  बरेली जोन एडीजी राजकुमार ने नवनिर्मित विधि विज्ञान प्रयोगशाला का निरीक्षण किया। इस दौरान वहां मौजूद रहे डिप्टी डायरेक्टर अरुण कुमार शर्मा ने बताया कि अगले साल यहां पर बैलेस्टिक, प्रलेख, टॉक्सोलॉजी, DNA, फोटो तथा कंप्यूटर फोरेंसिक अनुभाग स्थापित कर जांच शुरू की जाएगी।

पूरे जोन के 9 जिलों को इस फोरेंसिक लैब का लाभ प्राप्त हाेगा और इन सभी जिलों की जांच में तेजी आएगी।

466 नमूनों में से 172 की जांच मिली पूरी

एडीजी राजकुमार ने बताया कि विधि विज्ञान प्रयोगशाला का निर्माण उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड द्वारा किया जा रहा है। इसकी स्थापना के साथ ही बायोलॉजी, यूरोलॉजी, रसायन, भौतिकी व घटना स्थल प्रबंधन जैसे अनुभाग स्थापित कर यहां जांचें शुरू कर दी गई हैं।

इससे विभिन्न मामलों की जांच में काफी सहायता मिली है। उन्होंने बताया कि पिछले 3 महीने में बरेली रेंज से 466 माल जांच के लिए प्राप्त हुए, जिनमें से 172 मामलों में परीक्षण रिपोर्ट भेजी जा चुकी है। बाकी 294 माल की परीक्षण रिपोर्ट भी जल्दी प्रेषित की जाएगी।

9 जिलों की जांच अब होगी फास्ट

बरेली जिले समेत रेंज के पीलीभीत, बदायूं, शाहजहांपुर, अमरोहा, मुरादाबाद, संभल, रामपुर समेत 9 जिलों में होने वाले गंभीर आपराधिक मामलों की फोरेंसिक जांच के लिए आगरा या लखनऊ फोरेंसिक लैब भेजा जाता था।

वहां पहले से ही उनके क्षेत्र के फोरेंसिक साक्ष्य जांच के लिए मौजूद रहते है। जिसके चलते बरेली रेंज के की फोरेंसिक जांच रिपोर्ट आने में 4 से 6 महीने का वक्त लगता था। जिसके चलते अपराधियों को जल्द सजा दिलाने में वक्त लगता था।

अब बरेली में जांच होने के कारण फोरेंसिक रिपोर्ट जल्द मिलेगी। जिसके चलते जांच में तेजी तो होगी साथ ही अपराधियों को जल्द सजा दिलाने में मदद मिलेगी।

लैब शुरू होने से मिलेंगे यह लाभ

– पॉक्सो एक्ट से संबंधित घटना स्थल, पीड़िता तथा संदिग्ध व्यक्ति से बरामद सामग्री की होगी जांच।

– बरेली मंडल में मादक पदार्थों के व्यापार में लिप्त अपराधियों के विरुद्ध शीघ्र परीक्षण रिपोर्ट मिल सकेगी।

– जघन्य अपराधों में घटना स्थल का निरीक्षण एवं साक्ष्य संकलन हो सकेगा।