(www.arya-tv.com)उत्तर प्रदेश में दो दिन के अंदर बहुजन समाज पार्टी के दो और विधायक गुड्डू जमाली और वंदना सिंह ने पार्टी का साथ छोड़ दिया है। यह सिलसिला पिछले छह महीने से जारी है। 2017 में विधानसभा चुनाव में बसपा के टिकट पर 19 विधायक जीत कर आए थे। लेकिन अब 4 विधायक ही बचे हैं। इस तरह वह यूपी में कांग्रेस और अपना दल से भी छोटी पार्टी हो गई है।
बसपा के साथ ऐसा पहली बार नहीं हुआ है। इससे पहले 2017 में भी विधानसभा चुनाव से ठीक पहले 8 बड़े नेताओं ने पार्टी छोड़ दी थी। तब ज्यादातर विधायक भाजपा में शामिल हुए थे।
आजमगढ़ से दो विधायकों ने छोड़ा साथ
आजमगढ़ की मुबारकपुर सीट से शाह आलम उर्फ गुड्डू जमाली विधायक हैं। इसी जिले की सगड़ी सीट से बसपा विधायक वंदना सिंह ने भी पार्टी छोड़ी है। वंदना भाजपा में शामिल हो गई हैं। आलम ने अभी क्लीयर नहीं किया है कि वे किस पार्टी में जा रहे हैं।
सबसे कम सीटों वाली पार्टी बनी बसपा
यूपी कांग्रेस के 7 विधायकों में एक बागी है और एक ने पार्टी छोड़ दी है। अब 6 विधायक बचे हैं। अपना दल के पास 9 विधायक हैं। सुभासपा के चार विधायक हैं। वहीं, अब बसपा के पास भी 4 ही विधायक बचे हैं।
बसपा के बचे 4 विधायक
- श्याम सुंदर शर्मा
- उमाशंकर सिंह
- विनय शंकर तिवारी
- आजाद अरिमर्दन
ऐसे कम होती गई संख्या
- दो विधानमंडल दल नेताओं ने ही पार्टी छोड़ दी।
- लालजी वर्मा और राम अचल राजभर को निष्कासित किया।
- पार्टी विरोधी गतिविधियों की बात कहकर बसपा ने 9 विधायकों को निलंबित किया।
- विधायक सुखदेव राजभर का निधन हो गया।
उमाशंकर सिंह को विधानमंडल दल का नेता बनाया
बसपा प्रमुख मायावती ने लालजी वर्मा के पार्टी छोड़ने के बाद शाह आलम उर्फ गुड्डू जमाली को विधानमंडल दल का नेता बनाया था, लेकिन वह छह महीने भी नहीं टिके। इस तरह से छह महीने में बसपा विधायक दल के दो नेता छोड़ गए। अब जमाली की जगह मायावती ने उमाशंकर सिंह को विधानमंडल दल का नेता बनाया है।