(www.arya-tv.com) कवयित्री मधुमिता शुक्ला हत्याकांड में रिहाई के बाद से पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी सुर्खियों में है, लेकिन वह कहां है? इस पर सस्पेंस है। अमरमणि BRD मेडिकल कॉलेज में भर्ती है या कहीं और? इसको लेकर अलग-अलग दावे किए जा रहे हैं। यही नहीं, वजह है कि रिहाई के बाद से अमरमणि की सार्वजनिक तौर एक भी फोटो सामने नहीं आई है। यही नहीं, CMO के मेडिकल बोर्ड के सामने भी पेश नहीं हुआ।
उधर, गोरखपुर BRD मेडिकल कॉलेज के वर्किंग प्रिंसिपल डॉ. पवन प्रधान ने कहा है कि 25 अगस्त को जेल से रिहाई के बाद अमरमणि को 26 अगस्त को अस्पताल से छुट्टी कर दी गई। इसके बाद से चर्चा शुरू हो गई है कि आखिर जो व्यक्ति 18 साल से बीमार है। वह रिहाई के अगले ही दिन आखिर स्वस्थ्य कैसे हो गया?
हालांकि, इस मामले पर CMO डॉ. आशुतोष दुबे और BRD प्रिंसिपल डॉ. गणेश कुमार ने पूरी तरह से चुप्पी साध ली है। CMO ने सिर्फ यही कहा कि अमरमणि का मामला अभी कोर्ट में विचाराधीन है। इसलिए कोई जानकारी नहीं दी जा सकती है। जबकि प्रिंसिपल ने बोलने से साफ मना कर दिया।
बेटे की सफाई- BRD में चल रहा माता-पिता का इलाज
अमरमणि के बेटे अमनमणि त्रिपाठी ने कहा कि माता-पिता जेल से भले ही रिहा हो गए। लेकिन, उनकी तबीयत अभी ठीक नहीं है। अगर उन्हें अस्पताल से छुट्टी देने की बात किसी ने कही है, तो उसके लिए बकायदा डिस्चार्ज स्लीप जारी हुई होगी, उसे सामने लाया जाए। यह बात पूरी तरह निराधार है।
अमनमणि ने यह भी बताया कि डॉक्टरों से बात हुई तो उन्होंने कहा कि अभी दोनों को डिस्चार्ज करने की स्थिति नहीं है। इसलिए इतनी जल्दी हम कोई निर्णय नहीं ले सकते। मेरी मां को सर्वाइकल की दिक्कत है। जबकि, पिता को न्यूरो और स्पाईनल प्रॉब्लम है। उन्हें चलने और खड़े होने में दिक्कत होती है। इसलिए अभी यह तय नहीं है कि वे कितने दिन अस्पताल में रहेंगे। डॉक्टरों के परामर्श के बाद ही इस पर कोई फैसला लिया जाएगा।
5 डॉक्टरों की टीम इंतजार करती रही, फिर भी पेश नहीं हुआ अमरमणि
वहीं, सोमवार को 5 डॉक्टरों की टीम करीब एक घंटे तक पूर्व मंत्री का CMO कार्यालय में सेहत की जांच के लिए इंतजार करती रही। लेकिन, अमरमणि बोर्ड के सामने नहीं आया। इसकी सूचना CMO ने बस्ती में अदालत को भेज दी है। जबकि इसके बाद पूर्व मंत्री के बेटा अमनमणि त्रिपाठी CMO की मेडिकल बोर्ड के सामने खुद पेश हुए।
उन्होंने बोर्ड को बताया कि माता-पिता दोनों गंभीर रूप से बीमार हैं। BRD मेडिकल कॉलेज में ही उनका लंबे समय से इलाज चल रहा है। पिता के स्वास्थ्य की जांच के लिए किसी प्रकार के मेडिकल बोर्ड के गठन या नोटिस की कोई सूचना नहीं है। CMO ने बताया कि मेडिकल बोर्ड गठित होने और बोर्ड के सामने अमरमणि को पेश करने के लिए जेल प्रशासन और बीआरडी मेडिकल कॉलेज को सूचना दी गई थी। जब यह सूचना जारी की गई थी, तब आधिकारिक तौर पर यह नहीं पता था कि अमरमणि की रिहाई हो गई है।
कम नहीं हो रही अमरमणि की मुश्किलें
दरअसल, जेल से रिहाई के बाद भी मुश्किलें अमरमणि का पीछा नहीं छोड़ रही हैं। 2001 में बस्ती कोतवाली इलाके के गांधीनगर निवासी धर्मराज गुप्ता के बेटे का अपहरण हो गया था। पुलिस ने तत्कालीन विधायक अमरमणि त्रिपाठी के लखनऊ स्थित आवास से बच्चे को बरामद किया था। इस मामले में 9 आरोपी हैं, इसमें अमरमणि, नैनी शर्मा और शिवम उर्फ रामयज्ञ गैरहाजिर चल रहे हैं। इसकी वजह से मामले में 22 साल से कोर्ट की कार्यवाही चल रही है।