जानें कौन हैं जालसाजी के मामले में गिरफ्तार पूर्व विधायक पवन पांडेय? भाई सपा से MLA, भतीजा है BSP से MP

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(www.arya-tv.com) अम्बेडकरनगर. शिवसेना पार्टी से अकबरपुर के पूर्व बाहुबली विधायक पवन पांडेय को एसटीएफ लखनऊ की टीम ने उनके आवास से गिरफ्तार कर लिया है. एसटीएफ ने उन्हें जमीन जालसाजी से जुड़े एक मामले में पूछताछ के लिए गिरफ्तार किया है. पूर्व विधायक पर धोखाधड़ी और जालसाजी कर करोड़ों की जमीन अपने सहयोगियों के नाम कराने में साजिश करने का आरोप लगा है. इस मामले में एक साल पहले अकबरपुर कोतवाली में धोखाधड़ी और जालसाजी सहित कई अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज हुआ था.

मामले में पुलिस ने विवेचना कर चार्जशीट न्यायालय में दाखिल कर दिया था, लेकिन बाद में हाईकोर्ट के आदेश पर इस मामले की जांच एसटीएफ करने लगी. इसके बाद एसटीएफ ने बाहुबली पूर्व विधायक पवन पांडेय को गिरफ्तार कर लिया.
जानें कौन से मामले में हुई गिरफ्तारी 
जून 2022 में अकबरपुर कोतवाली निवासी चंपा देवी ने पुलिस को दिए तहरीर में आरोप लगाया था कि अकबरपुर बसखारी मार्ग पर उसकी करोड़ों की जमीन है, जिसकी बाजार में कीमत लगभग 8 करोड़ है. इस जमीन को हड़पने के लिए अकबरपुर के बाहुबली माफिया पवन कुमार पांडे  और उनके समर्थक मुकेश तिवारी ने फर्जी रूप से इकरारनामा कर लिया. इसमें विक्रय धन मात्र 20 लाख रुपए दर्शाया गया. इन लोगों के साथ गोविंद यादव और अन्य लोगों की मिलीभगत से उनके पुत्र को नशे का इंजेक्शन देकर इकरारनामा कराया गया. इनके द्वारा संपत्ति हड़पने के लिए फर्जी लड़की नीतू सिंह के जरिए अकबरपुर नगर पालिका में प्रार्थी के परिवार रजिस्टर में चंपा देवी के लड़के अजय सिंह के पत्नी के रूप में नाम दर्ज करने का प्रार्थना पत्र दिया. इन लोगों ने पहले अजय सिंह की फर्जी शादी की सर्टिफिकेट बनवाया और 2 घंटे बाद ही  उसकी मौत हो गई.
मृतक अजय सिंह के मां की तहरीर पर पूर्व विधायक पवन पांडे सहित एक दर्जन लोगों पर कई गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज हुआ था ,जिसमें अब एसटीएफ ने पवन पांडे को गिरफ्तार कर लिया है. गिरफ्तार पवन पांडे बाबरी मस्जिद विध्वंस में भी मुख्य आरोपी थे.

कौन है बाहुबली पूर्व विधायक पवन पांडेय- 
वर्तमान समय में पवन पांडेय के भाई राकेश पांडेय जलालपुर सीट सपा से विधायक हैं, जबकि भतीजा रितेश पांडेय अंबेडकरनगर से बीएसपी से सांसद है. 1991 में अकबरपुर विधानसभा से पवन पाण्डेय शिवसेना से विधायक बने, लेकिन उसके बाद अकबरपुर सीट से कई बार वह निर्दलीय और लोजपा से चुनाव लड़े, लेकिन हार गए. सुल्तानपुर जनपद से लोकसभा का चुनाव भी लड़ चुके है, लेकिन वहां भी पराजित हो गए. बाबरी मस्जिद गिराने के मामले में भी पवन पांडेय पर मुकदमा दर्ज हुआ था. सीबीआई ने उनके खिलाफ आरोपपत्र भी दाखिल किया था. बीते विधानसभा चुनाव में इनके बड़े बेटे प्रतीक पाण्डेय कटेहरी बिधान सभा क्षेत्र से बीएसपी से चुनाव लड़े, लेकिन हार गए. पवन पांडेय के ऊपर यूपी के कई जिलों में 4 दर्जन से अधिक हत्या, लूट और अन्य आपराधिक केस दर्ज है. अब जमीन के मामले में एसटीएफ ने पवन पांडेय को उनके आवास से गिरफ्तार कर लिया है.