कुशीनगर में 11 साल का बच्चा सकुशल बरामद; कोचिंग संचालक अरेस्ट

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(www.arya-tv.com)उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में दो दिन पूर्व कोचिंग से लौटते समय अगवा हुए 11 साल के बच्चे को पुलिस ने 36 घंटे के भीतर सकुशल बरामद कर लिया है। इस केस का मास्टर माइंड कोचिंग संचालक निकला है। उसे पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। जबकि अन्य आरोपियों की तलाश की जा रही है। आरोपी ने बच्चे की मां को इंटरनेट कॉल के जरिए 20 लाख रुपए की फिरौती मांगी थी।

बुधवार की सुबह कोचिंग गया था आदित्य

दरअसल, पटहेरवा थाना क्षेत्र के रामकोला चट्टी निवासी अजीत उर्फ मिंटू वर्मा का 11 साल का बेटा आदित्य बुधवार की सुबह 9 बजे ट्यूशन पढ़ने हौदा नरायनपुर में सम्राट एजुकेशन एकेडमी गया था। लेकिन घर वापस आते समय दो अज्ञात बदमाशों ने बाइक से उसे अगवा कर दिया। परिवार की सूचना पर पुलिस ने केस दर्ज कर पड़ताल शुरू की। इसी बीच गुरुवार की देर रात बदमाशों ने मां के मोबाइल पर वॉट्सऐप कलिंग करते हुए 20 लाख की फिरौती मांगी। पुलिस से शिकायत न करने की धमकी दी थी।

पुलिस ने साइबर सेल व सर्विलांस की मदद से आरोपियों को ट्रेस कर लिया। पुलिस ने आरोपियों की घेराबंदी शुरू की तो शुक्रवार की दोपहर आदित्य को आरोपी थाना क्षेत्र कसया में NH-28 पर वरदान अस्पताल के पास छोड़कर फरार हो गए। पुलिस ने इस केस के मास्टर माइंड सरया बुजुर्ग निवासी यशवंत कुशवाहा को गिरफ्तार किया है। वह कोचिंग का संचालक है।

फिरौती की कॉल पर ट्रेस हुआ मास्टर माइंड

मुख्य किडनैपर यशवंत ने बताया कि उसने कोचिंग छूटने से पहले ही अपहरण की योजना बना ली थी। आदित्य का पिता अजीत सिंगापुर में कमाई करता है। उसने सोचा था कि अपहरण के बदले 20 लाख रुपए की फिरौती वसूल करेगा। वह रातों रात अमीर बनना चाहता था। इसलिए शातिराना तरीके से उसने फिरौती के लिए मोबाइल नंबर का इस्तेमाल नहीं किया। पहले इंटरनेट कॉलिंग से फिरौती मांगी। सफल नहीं हो पाया तो उसकी मां को वॉट्सऐप से कॉल किया और फिरौती मांगी। पुलिस टीम शुरू से ही सर्विलांस व साइबर सेल के साथ योजना बनाकर काम कर रही थी। उसकी चालाकी पकड़ ली और दबाव बनाकर को बच्चे को मुक्त करा लिया। उसके साथियों की तलाश की जा रही है।

तीन दिन से परिवार में नहीं जला चूल्हा
बच्चे के अपहरण के बाद से वर्मा परिवार सहित पूरे गांव की खुशियां गायब हो गई थीं। अपहृत आदित्य के बड़े पिता ईश्वर वर्मा ने बताया कि तीन दिन से घर मे चूल्हा नहीं जला था। परिवार सहित गांव के और बच्चे भी मारे डर के स्कूल न जाने को कहने लगे थे। जहां एक तरफ पूरा विश्व नए साल की खुशियां मना रहा था वही इस गांव से खुशियां गायब थी। लोगों के चेहरे अनहोनी की आशंका से अपनी चमक खो चुका था। गांव के हर लोग आदित्य की सकुशल बरामदगी के लिए मिन्नतें मांग रहे थे।