(www.arya-tv.com)उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव से ठीक पहले आयकर के छापों से समाजवादी पार्टी को बड़ा झटका लगा है। बताया जा रहा है कि आयकर विभाग सपा से जुड़े लोगों और कारोबारियों पर काफी समय से नजरें बनाए हुए था। इसी दौरान टीम को सामान, होलसेल और डिलीवरी जैसे कोडवर्ड की जानकारी मिली। इसके बाद आईटी की टीम ने ये छापेमारी की। इस पूरे ऑपरेशन को ‘बिग बाजार’ नाम दिया गया।
जैन परिवार के ठिकानों पर छापेमारी
आयकर विभाग ने गुरुवार को कानपुर में इत्र बनाने वाले जैन परिवार के ठिकानों पर छापेमारी की। अब तक उनसे 150 करोड़ रुपए बरामद हुए हैं। नोटों के बंडल इतने ज्यादा हैं कि उन्हें गिनने के लिए मशीनें और रखने के लिए कंटेनर लाना पड़ा। गिनती के लिए SBI के अधिकारियों को भी बुलाया गया। जानकार बता रहे हैं कि इस छापे से सपा के इलेक्शन फंड मैनेजमेंट को बहुत बड़ा नुकसान पहुंचा है। इससे पहले सपा के फाइनेंसर माने जाने वाले जैनेंद्र यादव, पार्टी के राष्ट्रीय सचिव राजीव राय, मनोज यादव और राहुल भसीन के यहां छापा पड़ा था। इसमें करीब 800 करोड़ रुपए की कर चोरी का पता चला है।
छापेमारी फोन पर बातचीत को ट्रेस करने के बाद
सूत्रों के मुताबिक, जैन परिवार पर आयकर की छापेमारी फोन पर बातचीत को ट्रेस करने के बाद हुई है। यह जानकारी मिली थी कि कानपुर में इत्र कारोबारी पीयूष जैन के पास चुनाव में खर्च होने वाला बड़ा फंड रखा हुआ है। इसी सूचना के बाद IT ने रेड कर करीब 150 करोड़ कैश बरामद किया है।
इतनी बड़ी रकम गिनने में 13 मशीनें लगाई गईं। रेड की जो तस्वीरें सामने आई हैं, उनमें दिखाई दे रहा है कि कैश के बंडल अलमारियों में रखे गए हैं। अगर इन पैसों का इस्तेमाल चुनाव में होना था, तो फिर कह सकते है कि आयकर विभाग ने छापा मारकर पार्टी के इलेक्शन कैम्पेन पर बड़ी चोट पहुंचाई है।
पार्टी का फंड मैनेजर कहा जाता है
यूपी चुनाव से पहले आयकर विभाग के ये सारे छापे समाजवादी पार्टी से जुड़े लोगों के यहां ही पड़ रहे हैं। इसमें वे भी शामिल हैं, जिन्हें पार्टी का फंड मैनेजर कहा जाता है। 18 दिसंबर को लखनऊ में जैनेंद्र यादव उर्फ नीटू के यहां छापा भी कैश सीज करने की नीयत से ही हुआ था।
जैनेंद्र सपा सरकार में सीएम अखिलेश के OSD थे। इन्हें भी समाजवादी पार्टी का फाइनेंसर बताया जाता है। राहुल भसीन जैनेंद्र के करीबी बताए जाते हैं। चुनाव के लिए फंड इकट्ठा करने की जिम्मेदारी भी इन्हें ही दी गई थी। हालांकि अभी इसकी कोई पुष्टि नहीं हुई है।