ओवैसी की कार पर फायरिंग मामले में आरोपियों ने किया खुलासा, जानिए क्यों सुरक्षा लेने से AIMIM चीफ ने किया इनकार

National

(www.arya-tv.com) गुरुवार की रात ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) चीफ असदुद्दीन ओवैसी के काफिले पर फायरिंग हुई। घटना उस समय हुई जब ओवैसी मेरठ में प्रचार खत्म कर दिल्ली लौट रहे थे। हमलावरों की गोली ओवैसी की कार पर लगी। गोली लगने से ओवैसी की गाड़ी पंक्चर हो गई, लेकिन ओवैसी को कोई चोट नहीं आई। इसके बाद ओवैसी दूसरी गाड़ी में दिल्ली के लिए रवाना हो गए।

जांच में पुलिस को मिली जल्द कामयाबी
हमले की खबर मिलते पुलिस मौके पर पहुंच गई और कुछ ही देर बाद फॉरेंसिक विभाग की टीम भी वहां आ गई। जांच में जुटी पुलिस को जल्द ही कामयाबी मिल गई और हापुड़ पुलिस ने सचिन नाम के आरोपी को हिरासत में ले लिया। सूत्रों के मुताबिक आरोपी सचिन नोएडा के बादलपुर का रहने वाला है। साथ ही पुलिस ने वो हथियार भी बरामद कर लिया, जिससे काफिले पर हमला किया गया था। कुछ ही घंटे बाद शुभम नाम के दूसरे हमलावर ने गाजियाबाद के सिहानी गेट थाने में सरेंडर कर दिया।

दोनों आरोपी ओवैसी की मेरठ की सभा में थे मौजूद
पुलिस सूत्रों के मुताबिक, आरोपी सचिन असदुद्दीन ओवैसी के लगभग हर स्पीच को फॉलो करता था। दोनों आरोपी पिछले कई दिनों से ओवैसी का पीछा कर रहे थे और उनकी सभाओं में मौजूद रहते थे। वहीं, पुलिस अधिकारियों के अनुसार, दोनों आरोपी असदुद्दीन ओवैसी की मेरठ की सभा में भी मौजूद थे। अब मेरठ में सभा स्थल के आस-पास के सीसीटीवी चेक किए जाएंगे।

सिक्‍योरिटी लेने से किया इनकार
हमले के बाद भी असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि साल 1994 में पहली बार विधान सभा का चुनाव जीतकर एमएलए बना था, लेकिन अब तक मैंने किसी तरह की कोई सुरक्षा नहीं ली है। मैं भविष्य में भी कभी सुरक्षा नहीं लूंगा।

उन्होंने आगे कहा कि मेरी जान की हिफाजत करना सरकार की जिम्मेदारी है। जब मेरा वक्त आएगा तब चला जाऊंगा। मैं चुनाव आयोग से कहना चाहूंगा कि इस मामले के पीछे जरूर कोई मास्टरमाइंड है। कुछ दिन पहले प्रयागराज में धर्म संसद में मेरी जान लेने की बात कही गई थी, जो ऑन रिकार्ड है, उसे भी देखा जाना चाहिए।