आतंकियों के निशाने पर अब मध्यप्रदेश;युवाओं का ब्रेनवॉश कर उन्हें JMB में भर्ती करने के मिशन में जुटे

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(www.arya-tv.com) आतंकियों के निशाने पर अब मध्यप्रदेश है। ये खुलासा मध्यप्रदेश ATS के हाथ लगे आतंकी संगठन जमात-ए-मुजाहिद्दीन-बांग्लादेश (JMB) के चार आतंकियों से पूछताछ में हुआ है। इन आतंकियों का टारगेट एमपी में अपने आतंकी संगठन का स्लीपर सेल नेटवर्क तैयार करना था ताकि भविष्य में यहां आतंकी हरकतों को अंजाम दिया जा सके। इसके लिए वे समुदाय विशेष के युवाओं का ब्रेनवॉश कर उन्हें JMB में भर्ती करने के मिशन में जुटे थे।

आलिम के बहाने मदरसों के युवाओं का कर रहे थे ब्रेनवॉश
अपना नेटवर्क तैयार करने के लिए चारों आतंकियों ने धर्म का सहारा लेकर मस्जिद-मदरसों में पैठ बना ली थी, जहां वे आलिम के बहाने युवाओं से संपर्क कर रहे थे। इसके अलावा ये आतंकी कॉलेज में पढ़ रहे युवक-युवतियों पर भी डोरे डाल रहे थे। वे अपने मंसूबे में कामयाब हो पाते, इससे पहले ही ATS ने उन्हें दबोच लिया।

गिरफ्तार किए गए चारों आतंकियों का मंसूबा सिमी के बाद प्रदेश में JMB का नेटवर्क खड़ा करना था। नेटवर्क विस्तार के लिए बांग्लादेश से उनके आका सुनियोजित तरीके से इन्हें मदद पहुंचाते रहे। उनका मकसद स्थानीय युवाओं को संगठन में भर्ती कर उन्हें भारत की एकता और अखंडता के खिलाफ इस्तेमाल करना था।

कोलकाता में पकड़े गए आतंकियों ने खोली थी पोल
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने जुलाई 2021 में कोलकाता से JMB के पांच आतंकियों को गिरफ्तार किया था। इनमें कोलकाता में JMB का मुखिया नजीउर रहमान भी शामिल था। जनवरी 2022 में पेश की गई चार्जशीट में खुलासा हुआ था कि JMB के आतंकी कोलकाता से पूरे भारत में नेटवर्क विस्तार की साजिश रच रहे हैं। इसके लिए पैडलर्स की मदद से वह हर स्टेट में स्लीपर सेल खड़ा कर रहे हैं। इसी से मध्यप्रदेश में सक्रिय आतंकियों की भी पोल खुली थी।

भोपाल में गिरफ्तार आतंकी

  • फजहर अली (32) उर्फ मेहमूद पुत्र अशरफ इस्लाम।
  • मोहम्मद अकील (24) उर्फ अहमद पुत्र नूर अहमद शेख ।
  • जहूरउदीन (28) उर्फ इब्राहिम उर्फ मिलोन पठान उर्फ जौहर अली पुत्र शाहिद पठान।
  • फजहर जैनुल आबदीन उर्फ अकरम अल हसन उर्फ हुसैन पुत्र अब्दुल रहमान।

    सिमी के सिमटने से अपने नेटवर्क का फायदा देखा
    एमपी में आतंकी संगठन सिमी के सिमटते नेटवर्क के बीच JMB के आतंकियों ने अपने नेटवर्क के विस्तार की योजना बनाई। योजना के तहत ही चार बांग्लादेशी आतंकियों को भोपाल में भेजा गया। जांच एजेंसी को इनके पास से बड़ी संख्या में फर्जी दस्तावेज मिले हैं, जिनमें पहचान पत्र के अलावा, अन्य दस्तावेज शामिल हैं। करीब दो साल से ये आतंकी भोपाल में सक्रिय थे। ATS इनसे अन्य शहरों के बारे में भी जानकारी जुटा रही है।

    सिमी से लेकर ISIS तक भोपाल में रहे हैं सक्रिय
    चार आतंकियों के पकड़े जाने से पहले भोपाल में सिमी समेत कई आतंकी संगठनों ने अपने पांव जमाए। इसमें ISIS जैसे खूंखार आतंकी संगठनों का नाम भी शामिल है। साल 2011 में ATS ने भोपाल में दो संदिग्ध आतंकियों को गिरफ्तार किया था। जो हूजी के थे। इसी तरह नवंबर 2015 में भी भोपाल से एक आतंकी को गिरफ्तार किया गया था, जो आतंकी संगठन ISIS के लिए भर्ती एजेंट के तौर पर काम करता था। यह एजेंट जम्मू से भोपाल नए लड़कों की भर्ती के लिए आया था।

    एनकाउंटर में भी मारे गए आतंकी
    भोपाल केन्द्रीय जेल ब्रेक कर भागे आठ आतंकियों को पुलिस ने मार गिराया था। भागने से पहले आतंकियों ने गार्ड की हत्या भी कर दी थी। ये आतंकी सिमी संगठन से जुड़े हुए थे। यह संगठन कई देश विरोधी गतिविधियों में शामिल रहा है, जिस कारण इस पर प्रतिबंध लगा हुआ है।