वाराणसी (www.arya-tv.com) लहरतारा क्षेत्र स्थित एक स्कूल के शौचालय में गत दिनों नौ वर्षीय छात्रा संग दुष्कर्म मामले में विशेष जांच दल (एसआइटी) ने सोमवार को स्कूल में जाकर जांच की। इस दौरान फोरेंसिक टीम व डाग स्क्वाड की मदद से घटनास्थल का फिर से निरीक्षण किया गया। साथ ही स्कूल के चेयरमैन, डिप्टी डायरेक्टर, प्रिंसिपल, मैनेजर, स्टेट मैनेजर व इंफारमेरियन से गहन पूछताछ की गई।
प्रबंधन से घटना से जुड़े सभी पहलुओं पर जानकारी ली। सभी लोगों से पुलिस उपायुक्त वरुणा जोन विक्रांत वीर के कार्यालय में विवेचना में सहयोग करते हुए पूछताछ के लिए एसआइटी के समक्ष उपस्थित होने के निर्देश दिए। एसआइटी पीडि़ता का धारा 164 के तहत बयान कराने के लिए प्रयास कर रही है।
अभिभावकों ने खड़े किए सवाल : उधर, दरिंदगी की घटना के चार दिन बाद सोमवार को जब स्कूल खुला तो अभिभावकों का गुस्सा आसमान पर चढ़ गया। स्कूल खुला तो छात्रों के बजाय 200 से अधिक अभिभावक स्कूल पहुंच गए। स्कूल प्रबंधन व प्रिंसिपल पर कार्रवाई की मांग की। इस दौरान काफी देर तक स्कूल गेट न खोले जाने पर स्कूल के बाहर नारेबाजी की। मामला तूल पकडऩे पर स्कूल पहुंचे चेयरमैन ने अभिभावकों को समझाया।
अभिभावकों के सवालों के जवाब दिए। कहा, बच्ची के साथ गलत हुआ, मगर इसका पता घर जाने के बाद चला। हमने इस तरह की सिचुएशन से निपटने के लिए एक टीम बना दी है। अभिभावकों ने कहा कि एक बच्ची के साथ इतना घिनौना अपराध स्कूल में हुआ, प्रबंधन व प्रिसिंपल पर कार्रवाई की जाए। सभी स्टाफ के कार्ड और आइडी फिर से चेक करने के साथ ही व्यवस्था दुरूस्त की जाए ताकि आगे फिर इस तरह कोई घटना न होने पाए।
न्यायिक कार्य से विरत रहे अधिवक्त, डीएम पोर्टिको में दिया धरना : लहरतारा स्थित निजी स्कूल में छात्रा के साथ दुष्कर्म के विरोध में अधिवक्ता न्यायिक कार्य से विरत रहे और डीएम पोर्टिको में धरना दिया। आरोपित सफाई कर्मी को फांसी और स्कूल प्रबंधन पर मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की मांग की। कहा, पूरे मामले की जांच हाईकोर्ट के पदेन न्यायमूर्ति से कराई जाए। मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन अपर नगर मजिस्ट्रेट को सौंपा। बनारस बार एसोसिएशन ने भी बैठक कर घटना की निंदा की।