कोरोना ने भी बना दिया मधुमेह का रोगी, ऐसे पहचानें लक्षण

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मेरठ (www.arya-tv.com) कोरोना की चपेट में आकर भी बड़ी संख्या में लोग शुगर के मरीज बन गए। वायरस ने जहां पैंक्रियाज की बीटा कोशिकाओं को गड़बड़ कर दिया, वहीं स्टेरायड की ओवरडोज से कई मरीजों को शुगर हो गई। शुगर से गुर्दे और दिल की बीमारी से होने वाली मौतें बढ़ी हैं।

युवा आ रहे चपेट में

चिकनाईयुक्त खानपान, तला पदार्थ खाने, परिश्रम न करने, वजन बढऩे, तनाव एवं लंबे समय तक खाली पेट रहने से पैंक्रियाज से इंसुलिन का उत्पादन कम होने लगता है, जिससे शुगर होती है। युवा भी चपेट में आ रहे हैं। मेडिकल कालेज के कोरोना वार्ड में भर्ती जिन मरीजों को ज्यादा स्टेरायड देने पड़े, जिससे उन्हें शुगर हो गई। इस दौरान मरीज और उनके स्वजन भारी मानसिक तनाव से गुजरे, जो इस बीमारी की बड़ी वजह है। बाहर घूमने-टहलने की जगह लोगों को घर पर रुकना पड़ा। शारीरिक श्रम बंद हो गया, वहीं वसायुक्त खानपान जारी रहने से बीमारी बिगड़ी। जिन मरीजों में मोटापा ज्यादा मिला, उनमें शुगर का खतरा है।

कैसे पहचानें शुगर है

– शरीर में इंसुलिन की मात्रा बढऩे से त्वचा पर लाल, पीले, कत्थई व काले धब्बे उभर सकते हैं, जो प्री-डायबिटिक का लक्षण है। त्वचा में रूखापन आने लगता है।

– मरीज बार-बार पेशाब के लिए जाता है।

– घाव जल्द नहीं भर पाते हैं।

– शरीर में कार्बोहाइड्रेट सही तरह से टूट नहीं पाता, ऐसे में ऊर्जा नहीं मिलती। मरीज में थकान बनी रहती है।

– शरीर में शुगर अवशोषित नहीं हो पाती है, जिससे ऊर्जा कम लगती है, ऐसे में बार-बार भोजन की इच्छा उभरती है।

– ऊर्जा के लिए शरीर वसा और मांसपेशियों को जलाने लगता है, जिससे वजन तेजी से गिरता है।

– आंखों से धुंधला दिखाई पड़ता है।

क्या कहते हैं विशेषज्ञ

करीब 50 प्रतिशत मरीजों को पता ही नहीं होता कि उन्हें शुगर पकड़ चुकी है। कोरोना वायरस ने अग्नाशय की बीटा कोशिकाओं को गड़बड़ कर कई लोगों को शुगर का रोगी बनाया। मोटापे पर नियंत्रण करें। वसायुक्त खानपान पूरी तरह बंद करें। खूब शारीरिक परिश्रम करें। कोविड की वैक्सीन लगवाएं।

– डा. मनमोहन शर्मा, हार्मोन्स रोग विशेषज्ञ

कोविड में होने वाले इन्फ्लामेशन से बीटा सेल गड़बड़ाया, और कई मरीजों में शुगर बढ़ गई। स्टेरायड से भी बीमारी का खतरा बढ़ा। शुगर नियंत्रित होने के बाद मरीज कोरोना की वैक्सीन जरूर लगवाएं। कम कैलोरी एवं कम संतृप्त वसा वाला आहार खाएं। सब्जियां, ताजे फल, साबुत अनाज, फाइबरयुक्त भोजन लें।

– डा. अमित रस्तोगी, हार्मोन्स रोग विशेषज्ञ

शुगर के 80 प्रतिशत मरीजों में दिल की बीमारी का खतरा है। उनमें एथेरोस्कलेरोसिस होने से दिल की धमनियां काफी सिकुड़ जाती हैं। अनियंत्रित शुगर से नर्व क्षतिग्रस्त होने से सीने में दर्द का पता नहीं चलता, और धीमा लेकिन गंभीर अटैक पड़ जाता है। इसे स्ट्रेस टेस्ट-इकोकार्डियोग्राम टेस्ट से पता कर सकते हैं।