(www.arya-tv.com)इस साल 1 जून से शुरू हुए मानसून से 8 सितंबर तक 613.0 मिलीमीटर बारिश प्रदेश में रिकॉर्ड की गई। इस बीच मौसम विभाग ने प्रदेश के 36 जिलों में बुधवार को बारिश का अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग के अनुसार, 10 जिलों में 80 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाओं के साथ बिजली की गरज चमक के बीच भारी बारिश होने की संभावना है। वहीं, 26 जिलों में येलो अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग की माने तो अगले 2-3 दिनों तक मामूली और भारी बारिश का सिलसिला बना रहेगा।
प्रदेश में बीते 24 घंटे में 2.5 मिलीमीटर बरसात हुई, जबकि 7.6 मिलीमीटर औसत बरसात होनी थी। वहीं, सबसे ज्यादा गर्म जिला 36.2 डिग्री सेल्सियस के साथ फतेहपुर रिकॉर्ड किया गया। उधर, 23.2 डिग्री सेल्सियस के साथ मुजफ्फरनगर जिला न्यूनतम तापमान रिकॉर्ड हुआ।
यूपी के 36 जिलों में बारिश का अलर्ट
- 26 जिलों में येलो अलर्ट: मुरादाबाद, संभल, अमरोहा, मथुरा, बुलंदशहर, गाजियाबाद, बागपत, शामली, सहारनपुर, बिजनौर, मुजफ्फरनगर, मेरठ, हापुड़, हमीरपुर, लखनऊ, सीतापुर, शाहजहांपुर, अयोध्या, बाराबंकी, इटावा, औरैया, जालौन, फर्रुखाबाद, ललितपुर और बलिया जिले में येलो अलर्ट जारी। यहां 50 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बिजली की गरज चमक के साथ बारिश होने की संभावना जताई है।
- 10 जिलों में रेड अलर्ट: उन्नाव, हरदोई, कन्नौज, कानपुर नगर और देहात, फतेहपुर, बांदा, अलीगढ़ और गौतम बुद्ध नगर जिलों में रेड अलर्ट जारी। यहां 80 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बिजली की गरज चमक के बीच भारी बारिश होने की संभावना है।
बंगाल की खाड़ी ओर लौट रही ट्रफ रेखा
मौसम विभाग के निदेशक जेपी गुप्ता के अनुसार, बुधवार को बंगाल की खाड़ी की ओर ट्रफ रेखा लौट रही है। इससे उठे नमी की वजह से प्रदेश में मानसून एक बार फिर से करवट लेगा। जेपी गुप्ता ने बताया कि विदर्भ और आसपास के क्षेत्र पर एक गहरा निम्न दबाव का क्षेत्र बना हुआ है, इसके पश्चिम उत्तर-पश्चिम दिशा में बढ़ने की उम्मीद है। मानसून की ट्रफ रेखा बीकानेर, मथुरा फिर भोपाल से होते हुए गहरे निम्न दबाव के क्षेत्र के मध्य से गुजर रही है। फिर पूर्व दक्षिण पूर्व की ओर पश्चिम मध्य बंगाल की खाड़ी की ओर जा रही है। एक 18 डिग्री उत्तर में 3.1 और 7.6 किमी के बीच अक्षांश के साथ है। मौसम विभाग के मुताबिक, प्रदेश के कई जिलों में मामूली और भारी बारिश हो सकती है। ऐसा मौसम अगले दो-तीन दिनों तक बना रहेगा।
क्या होती है मानसून की ट्रफ लाइन?
पाकिस्तान व राजस्थान के बीच के क्षेत्र में जब लो प्रेशर सिस्टम बनता है, तब उससे निकलने वाली रेखा ट्रफ लाइन कहलाती है। यह लाइन अरब सागर और बंगाल की खाड़ी से नमी के साथ दोनों ओर से हवाएं खींचती है। इस वजह से मानसून सक्रिय होता है।