मुसलमान इस बिल का विरोध करते, भारत का संविधान सभी धर्म के लोगों के लिए समान : इरफान

Uncategorized

(www.arya-tv.com) रामपुर। जमीयत उलेमा की ओर से जामा मस्जिद में राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन एसडीएम संगम लाल यादव को सौंपा। कार्यकर्ताओं का कहना था कि वे नागरिकता संशोधन बिल की निदा करते हैं। विधेयक का उद्देश्य धर्म के आधार पर भेदभाव और विभाजन को स्पष्ट करना प्रतीत होता है।

जमीयत उलेमा की ओर से जामा मस्जिद में जुमे की नमाज के बाद सांप्रदायिक सौहार्द पर जलसा आयोजित किया। जलसे की शुरुआत कारी रियासत की नात पाक से हुई। इसके बाद जलसे में नागरिकता संशोधन बिल को नकारते हुए उलेमा ने कहा कि मुसलमान इस बिल का विरोध करते हैं। इस मौके पर राष्ट्रपति को सम्बोधित ज्ञापन के माध्यम से कहा कि भारत का संविधान सभी धर्म के लोगों से समान व्यवहार करने की इच्छा रखता है।

नागरिकता संशोधन बिल में नागरिकता के लिये धर्म को मानदंड करना कट्टरपंथी विराम को चिन्हित करेगा। संविधान की मूल संरचना के साथ असंगत होगा। मौलाना इरफान ने कहा कि इस देश की आजादी में मुसलमानों ने भी अपना खून बहाया है। इस प्रकार धर्म के नाम पर किसी से नागरिकता नहीं छीनी जा सकती।

इसके बाद उलेमाओं ने एकत्र होकर एसडीएम को ज्ञापन सौंपा। इस मौके पर जमीयत उलेमा के जिलाध्यक्ष महमूदुज्जफर रहमानी, मौलवी लियाकत अली, मौलाना जहीरुल इस्लाम, मौलाना शौकत अली, हाजी खलील, हाफिज मोहम्मद शकील, अब्दुल वाजिद कुतुब, कारी साजिद, मौलाना तारिक अली, हाजी अतीक अतीक, गौहर अली, मुफ्ती लईक अहमद, मौलाना यूसुफ, उस्मान सैफी, मोहम्मद रिहान, हाफिज अब्दुल सलाम, अख्तर अली, नवेद रहमानी, अख्तर अली, हाफिज हनीफ आदि रहे।