हाथ में रॉकेट लॉन्चर और तालिबानी गेटअप में जो बाइडेन, माजरा समझ से बाहर

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(www.arya-tv.com) अफगानिस्तान से अमेरिकी सेनाओं की पूरी तरह से वापसी को US में भी कई लोगों ने गलत बताया है। ये लोग राष्ट्रपति जो बाइडेन पर अपनी जिम्मेदारी से भागने का आरोप लगा रहे हैं। अमेरिकी राज्य पेनसिल्वेनिया में अब होर्डिंग लगाकर बाइडेन पर तंज कसा गया है। अलग-अलग जगहों पर कई होर्डिंग लगाई गई हैं, जिनमें राष्ट्रपति बाइडेन का चेहरा लगा हुआ है।

दिलचस्प यह है कि इनमें बाइडेन को तालिबानयों जैसे कपड़े पहने हुए दिखाया गया है और उनके हाथ में रॉकेट लॉन्चर है। साथ ही होर्डिंग पर लिखा है- तालिबान को फिर से ग्रेट बनाया जा रहा!

रिपब्लिकन लीडर स्कॉट वैगनर ने होर्डिंग लगवाए
इन होर्डिंग के पीछे पेंसिल्वेनिया के पूर्व सीनेटर स्कॉट वैगनर हैं, जो रिपब्लिकन हैं। उन्होंने 2014 से 2018 ऐसे जिले का प्रतिनिधित्व किया, जिसमें यॉर्क काउंटी शामिल है। वैगनर ने फॉक्स न्यूज को बताया कि राष्ट्रपति बाइडेन के अफगानिस्तान से सैनिकों की वापसी के फैसले ने हमें दुनिया के लिए हंसी का पात्र बना दिया। तालिबानी खुले तौर पर कह रहे हैं कि उन्होंने अमेरिका को अफगानिस्तान से बाहर भगा दिया।

वैगनर बोले- होर्डिंग को जल्दी नहीं हटाएंगे
वैगनर ने कहा कि वह इस बात से निराश और चिंतित हैं कि जब से हम उनके देश में गए, वहां के युवाओं ने जिस स्वतंत्रता का अनुभव किया, वह अब छीन ली जाएगी, क्योंकि तालिबान अपनी सत्ता जमा चुका है। उन्होंने साफ कहा कि इन होर्डिंग को जल्दी नहीं हटाया जाएगा और कम से कम दो महीने तक ये ऐसे ही लगी रहेंगी। उन्होंने कहा कि मैं किसी से कुछ छिपा नहीं रहा हूं, जो मुझे लगता है, वही दिखा रहा हूं।

और भी होर्डिंग लगाने की इजाजत मांग रहे लोग
वैगनर ने पूरे राज्य में 12 से ज्यादा होर्डिंग के लिए 15,000 डॉलर खर्च किए। उन्होंने कहा कि यह इमेज उनके किसी जानने वाले ने भेजी थी, जो उन्हें पसंद आई। उन्होंने कहा कि उम्मीद है कि देश भर में इस तरह के और होर्डिंग लगेंगे, क्योंकि कुछ लोगों ने इसकी इजाजत के लिए उनसे संपर्क किया है।

2001 में अफगानिस्तान गईं थीं अमेरिकी सेनाएं
2001 में अमेरिकी सेना ने अफगानिस्तान में आतंकियों के खिलाफ ऑपरेशन शुरू किया था। अमेरिका की स्पेशल फोर्सेज अफगानिस्तान में तालिबान के विरोधी नॉर्दर्न अलायंस जैसे मिलिशिया के साथ मैदान में कूद पड़ीं।

तालिबान को हटाकर हामिद करजई की सरकार बनाई
2001 में नवंबर के दूसरे हफ्ते में राजधानी काबुल के साथ कंधार को भी तालिबान से छुड़ा लिया गया। कंधार तालिबान का गढ़ था। दिसंबर 2001 में ओसामा बिन लादेन तोरा-बोरा पर्वतों से होता हुआ पाकिस्तान भाग गया और इधर, काबुल में हामिद करजई की अगुआई में नई सरकार बना दी गई।