2020 ओलंपिक: डोपिंग को लेकर रूस पर लगा चार साल का बैन

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मास्को. ओलिंपिक में हमेशा ही दुनिया की शीर्ष टीमों के आस पास रहने वाले रूस को बड़ा झटका लगने जा रहा है. रूस को अंदाजा हो गया है कि उसे चार सालों के लिए सभी खेलों से प्रतिबंधित कर दिया जाएगा. अगर ऐसा होता है तो रूस करीब दो ओलिंपिक (Olympics) में हिस्सा नहीं ले पाएगा. 1996 के बाद से लगातार ओलिंपिक में हिस्सा लेने वाले रूस ने 546 ओलिंपिक मेडल जीते हैं और 1996 से लेकर 2016 तक वह सिर्फ शीर्ष चार में ही रहा. ऐसे में टोक्यो ओलिंपिक (Tokyo Olympics) से पहले अगर ऐसा होता है तो यह खेल जगत के लिए भी बड़ा झटका होगा.

रूस के डोपिंग रोधी प्रमुख यूरी गानुस ने मंगलवार को कहा कि उन्हें लगता है कि विश्व डोपिंग रोधी एजेंसी (वाडा) रूस को चार साल के लिए सभी खेलों से प्रतिबंधित करने की सिफारिश स्वीकार कर लेगी.

हेरफेर का लगाया आरोप
पैनल ने मास्को पर जांचकर्ताओं को सौंपे गए प्रयोगशाला के आंकड़ों में हेरफेर का आरोप लगाया है.यूरी ने कहा कि हम बाहर होने वाले हैं, अगले चार साल के लिए, रूस के डोपिंग संकट का नया चरण. उन्होंने कहा कि चार साल लंबा समय है, यह दो ओलिंपिक हैं. रूस को तुरंत नए खेल प्रबंधन की जरूरत है और उन्होंने राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से हस्तक्षेप की मांग की. उन्होंने कहा कि ईमानदारी से कहूं तो मैं इंतजार कर रहा हूं कि राष्ट्रपति इसमें सक्रिय भूमिका निभाएं.

अधिकारियों की करनी का नुकसान भुगत रहे हैं खिलाड़ी
यूरी ने कहा कि यहां खेलों में काफी समस्याएं हैं, लेकिन सबसे मुश्किल और त्रासदीपूर्ण चीज यह है कि हमारे खिलाड़ियों को हमारे खेल अधिकारियों की करनी का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है. वाडा की अनुपालन समीक्षा समिति (सीआरसी) ने बयान जारी करके प्रतिबंध की मांग की थी, जिससे रूस अगले साल होने वाले टोक्यो ओलिंपिक से बाहर हो जाएगा. इसे नौ दिसंबर को पेरिस में होने वाली बैठक में स्वीकृति मिल सकती है.

20 साल के रूसी खिलाड़ी दे रहे हैं चुनौती
समर ओलिंपिक में रूस का इतिहास वैसे तो काफी पुराना है. लेकिन 1996 के बाद से यह लगातार ओलिंपिक(Olympics) में उतर रहे हैं. पिछले 20 सालों में रूसी खिलाड़ियों ने दुनिया को अपना दम दिखाया. ओलिंपिक में रूस ने अभी तक 195 गोल्ड, 163 सिल्वर और 188 ब्रॉन्ज मेडल जीते हैं.