मैं नहीं कहता कि हम सब बॉलीवुड वाले दूध के धुले हैं:रजा मुराद

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(www.arya-tv.com)शाहरुख खान के बेटे आर्यन ड्रग्स केस में इन दिनों मुंबई की आर्थर रोड जेल में बंद हैं। आर्यन की गिरफ्तारी के बाद से अब तक कई बॉलीवुड सेलेब्स ने शाहरुख, आर्यन और उनकी फैमिली का सपोर्ट किया है। दिग्गज एक्टर रजा मुराद ने आर्यन केस पर अपना रिएक्शन दिया है। इस दौरान उन्होंने शाहरुख से जुड़ी कई बातें भी शेयर की हैं।

कभी शाहरुख खान की मदद चंकी पांडे ने की 

देखिए, मुझे जहां तक याद है कि कभी शाहरुख ने चंकी पांडे के साथ कोई फिल्म नहीं की। चंकी क्या मदद कर सकते हैं, मेरी यह समझ में नहीं आ रहा है। इस बात में मुझे कोई ज्यादा वजन नहीं लगा। इसका कोई तालमेल नहीं है।

उनमें एनर्जी लेवल बहुत है

उनमें आत्मविश्वास तो शुरू से है। चीजों को लेकर उनकी अपनी सोच रहती है। वे जो सोचते हैं, उसे कहते भी हैं। वे किताबी बातें नहीं करते, जो सोचते-समझते हैं, वही करते हैं। सोच भी सबसे अलग है, क्योंकि सबसे अलग सोचते हैं। उनकी सोच शायद ही किसी की सोच से मेल खाए। उनके इंटरव्यू पढ़िए तो कुछ बातें ऐसी कहते हैं, जिसे न तो कभी पढ़ी और सुनी होगी। वे शुरू से ऐसे ही हैं। मुझे याद है, उन्होंने ‘दिल आशना है’ के सेट पर एक बात कही थी, जबकि उनकी एक भी फिल्म नहीं लगी थी। उन्होंने कहा था कि जब तब आप मुझे स्क्रिप्ट न भेंजे, जब स्क्रिप्ट अच्छी नहीं लगेगी, तब तक कोई फिल्म नहीं करूंगा। इस तरह शुरू से ही उनके तेवर अलग ही हैं। उनमें एनर्जी लेवल बहुत है। शाहरुख कभी घिसी-पिटी बात नहीं करते, हमेशा लीक से हटकर बात करते हैं। हमेशा से फैमिली मैन रहे हैं। काम से काम रखते हैं।

इससे ज्यादा दुखदायक बात हो नहीं सकती

ह बात दुखदायक है। यह मामला अदालत के हाथ में है। इसमें ज्यादा भावुक होने से कुछ होने वाला नहीं है। अब खाली आप उनको मोरल सपोर्ट दे सकते हैं। मामला अदालत में है, सो उस पर कुछ टिप्पणी करना सही नहीं है। हमारे यहां समस्या यह होती है कि हर आदमी अदालत लगाकर बैठ जाता है। खुद ही वकील होता है, खुद ही जज होता है, खुद ही प्रोस्टिट्यूटर होता है और खुद ही फैसले सुना देता है। यकीनन हम समझ सकते हैं। हमारी भी औलादें हैं। औलाद को जरा-सी तकलीफ होती है, तब मां-बाप का पूरा वजूद हिल जाता है। आत्मा हिल जाती है। यह बहुत बड़ी तकलीफ है। उन्हें दिलासा दे सकते हैं, इससे ज्यादा कुछ नहीं कर सकते।

इंडस्ट्री में ड्रग्स जैसे नशीले पदार्थों को लेकर आपका अनुभव क्या कहता है?

मैं तो यह नहीं कहता कि हम सब बॉलीवुड वाले दूध के धुले हैं। मैंने यह कभी दावा नहीं किया है। कुछ ऐसे लोग हैं, जो ड्रग्स का सेवन करते हैं, लेकिन कम मात्रा में हैं। जितना शोर मचाया जाता है, उतने नहीं है, लेकिन है। अगर एनसीबी वाले किसी हीरोइन को इंक्वारी के लिए बुलाते हैं, तब दुनिया का पूरा प्रेस पहुंच जाता है। इंक्वारी तो रोज हो रही है। लोग रोज पकड़े जाते हैं, लोगों पर रोज मुकदमे होते हैं। रोज लोगों की वेल अपीलें रिजेक्ट होती हैं। लेकिन जहां मामला फिल्म इंडस्ट्री का आता है, हर किसी की दिलचस्पी उसमें रहती है। कितने किस्से होते हैं, हर शहर में होते हैं। लेकिन मैं यह कहना चाहूंगा कि आज का जो जवान है, पढ़ा-लिखा है, उसे सोचना चाहिए कि ड्रग्स के सेवन के कितने नुकसान हैं। आपके स्वास्थ्य के लिए भी। यह ऐसी लत और चस्का है कि अगर किसी के पास पैसे नहीं है, तब वह अपनी मां का जेवर बेच सकता है, बाप का लैपटॉप बेच सकता है। सड़क पर जाकर राहजनी कर सकता है। वह किसी का खून भी कर सकता है, क्योंकि यह ऐसी खतरनाक लत है।

यही वजही है कि बहुत से देश ऐसे हैं, जहां थोड़ी-सी मात्रा में ड्रग्स मिल गई, तब उसे 25-30 साल की कैद हो जाती है। अगर इतनी लंबी कैद हो गई, तब उसकी जिंदगी तो वहीं खत्म हो गई। यह नौजवानों को भी सोचना चाहिए कि यह उनके लिए, उनके परिवार के लिए, समाज और देश के लिए कितना बड़ा खतरा है। इसका पूरे देश पर बहुत बुरा असर पड़ता है। हर मां-बाप को अपने बच्चे को ड्रग्स के बारे में बताना चाहिए कि यह कितनी खतरनाक चीज है। देखिए, बुजुर्ग कहते हैं कि बुरी संगत से दूर रहो। एक बार बुरी संगत में जाकर सेवन किया, तब उसकी आदत हो जाती है। आप अमीर मां-बाप के बेटे हैं, तब आप रोज ले सकते हैं, क्योंकि आपके पास पैसा है। एक बंदे को मैं जानता हूं, जिसका नाम नहीं लूंगा। उसका रोज के ड्रग्स का खर्च 60 हजार रुपए था। अब वह अमीर बाप का बेटा था, तब 60 हजार रुपए उसके लिए बड़ी बात नहीं थी। अब जिसके पास नहीं है, वह क्या करेगा। वह तो चोरी, डकैती… कुछ भी करेगी। यह इंडस्ट्री से नहीं हैं।