महोबा जनपद में दो दिनों से जारी मूसलधार बारिश एक परिवार पर कहर बनकर टूटी. जिले की सदर तहसील के सिजहरी गांव में बीती देर रात करीब दो बजे एक कच्चा मकान भरभराकर गिर गया, जिसमें सो रहे परिवार के सभी सदस्य मलबे में दब गए. इस दर्दनाक हादसे में 46 वर्षीय यशोदा देवी और उनका 13 वर्षीय बेटा प्रांशु की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि पति बिंद्रावन (46) और 12 वर्षीय छोटा बेटा ज्ञान सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए.
हादसे की जानकारी मिलते ही ग्रामीण घटनास्थल पर पहुंचे और पुलिस को सूचना दी. अंधेरे और तेज बारिश के बीच ग्रामीणों ने हिम्मत दिखाते हुए प्रशासन की मदद से रेस्क्यू अभियान चलाया,जेसीबी मशीन की मदद से मलबे में दबे सभी लोगों को बाहर निकाला. सभी को जिला अस्पताल ले जाया गया जहां डॉक्टर ने मां-पुत्र को मृत घोषित कर शवों को मोर्चरी में रखवाया जबकि घायल पिता और छोटे पुत्र का इलाज चल रहा है जो अब खतरे से बाहर बताए जा रहे है. परिजन और ग्रामीण बताते है कि दो दिन से क्षेत्र में लगातार बारिश हो रही थी, जिससे मकान की दीवारें कमजोर हो गई थीं. हादसे की रात बिंद्रावन अपनी पत्नी और दोनों बेटों के साथ घर में सो रहे थे, तभी अचानक पूरा मकान भरभराकर ढह गया. तेज आवाज सुनकर आसपास के ग्रामीण जाग गए और तत्काल मौके पर पहुंचे. मलबा हटाकर जब लोगों को बाहर निकाला गया, तब तक यशोदा और उनका बड़ा बेटा दम तोड़ चुके थे.
यह हादसा इतना भयावह था कि जिसने भी देखा वह सहम गया. राहत और बचाव कार्य में बारिश और रात के अंधेरे के कारण कई मुश्किलें आईं, लेकिन ग्रामीणों ने प्रशासन के साथ मिलकर साहसपूर्वक काम किया. घटना के बाद गांव में शोक की लहर फैल गई है.
प्रशासन की ओर से मौके पर अधिकारियों ने पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया है. इस हादसे ने बारिश के कारण जिले के कई अन्य कच्चे और जर्जर मकानों की जमीनी हकीकत को उजागर कर दिया है. ग्रामीणों की मांग है कि प्रशासन तत्काल सर्वे कर ऐसे मकानों में रह रहे लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट कराए, जिससे भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोका जा सके.