खेल जगत में कुछ भी असंभव नहीं है। ऐसा ही कुछ आज से 55 साल पहले हुआ था जो सदा के लिए क्रिकेट की रिकॉर्ड बुक में दर्ज हो गया। वो एक ऐसा मैच था जो क्रिकेट इतिहास के ‘सबसे एकतरफा मैच’ के रूप में दर्ज है। चालिये आपको भी बताते हैं की क्या हुआ था उस मुकाबले में….
55 साल पुराना वो मुकाबला
हम जिस मैच की बात कर रहे हैं वो 1964 में पाकिस्तान के लाहौर में खेला गया था। पाकिस्तान के घरेलू क्रिकेट में खेली जाने वाली अयूब ट्रॉफी के तीन दिवसीय मैच (3 day match) में पाकिस्तान रेलवे और डेरा इस्माइल खान की टीमें आमने-सामने थीं। मुकाबले का अंत आज ही तारीख यानी 4 दिसंबर को हुआ था और अपने पीछे सबसे अजीबोगरीब आंकड़ा छोड़ गया था।
एक ट्रिपल सेंचुरी, एक डबल सेंचुरी और दो सेंचुरी
मैच में सबसे पहले पाकिस्तान रेलवेज की टीम बल्लेबाजी करने उतरी और उन्होंने सबको हैरान करते हुए 6 विकेट के नुकसान पर 910 रनों का स्कोर खड़ा कर डाला। इस दौरान उनकी तरफ से परवेज अख्तर ने नाबाद 337 रनों की पारी खेली, जावेद बाबर ने 200 रन बनाए, ओपनर इजाज हुसैन ने 124 रन बनाए जबकि मोहम्मद शरीफ ने नाबाद 106 रनों की पारी खेल डाली। इस दौरान विरोधी टीम के दो गेंदबाजों ने तकरीबन 300-300 रन लुटाए जबकि दो अन्य गेंदबाजों ने 100 से ऊपर रन लुटा डाले थे।
जवाब में कुछ ऐसे लड़खड़ाई विरोधी टीम
जब डेरा इस्माइल खान टीम के जवाब की बारी आई तो हद ही हो गई। उनकी पूरी टीम कुल 15.3 ओवर में महज 32 रन पर सिमट गई। इस दौरान उनके 6 बल्लेबाज शून्य पर पवेलियन लौट गए। इससे भी दिलचस्प रहा कि इस कहर को अंजाम देने के लिए सिर्फ दो गेंदबाजों का इस्तेमाल हुआ। रेलवे की तरफ से अफाक खान ने 14 रन देकर 7 विकेट लिए जबकि बशीर हैदर ने 15 रन देकर 2 विकेट लिए। एक बल्लेबाज पिच पर बाधा पैदा करने के चलते आउट करार दिया गया।
दूसरी पारी में फिर बना मजाक
जाहिर था कि पाकिस्तान रेलवे की टीम अब डेरा इस्माइल खान को फॉलोऑन खेलने पर मजबूर करने वाली थी। दूसरी पारी में जब डेरा इस्माइल खान की टीम बल्लेबाजी करने उतरी तो एक बार फिर उन्होंने अपना मजाक बनवा लिया। स्थिति पहली पारी से भी खराब रही। दूसरी पारी में वे कुल 12.3 ओवर में महज 27 रन पर ही सिमट गए। इस बार उनके पांच खिलाड़ी बिना खाता खोले आउट हो गए। पिछली पारी में जहां दो गेंदबाजों ने कहर बरपाया था, वहीं दूसरी पारी में तो अकेले एक ऐसे गेंदबाज ने धूम मचा दी जिसे पहली पारी में गेंदबाजी तक नहीं मिली थी। ये थे अहाद खान जिन्होंने कुल 7 रन लुटाते हुए 9 विकेट ले डाले।